मंगलवार, 19 मार्च 2013

बिजली कम परेशानी ज्यादा पैदा करेंगे गौतम थापर।


0 रिजर्व फारेस्ट में कैसे बन रहा पावर प्लांट . . . 18

बिजली कम परेशानी ज्यादा पैदा करेंगे गौतम थापर।

(मणिका सोनल)

नई दिल्ली (साई)। देश के जाने माने उद्योगपति गौतम थापर के स्वामित्व वाले अवंथा समूह के सहयोगी प्रतिष्ठान मेसर्स झाबुआ पावर लिमिटेड के द्वारा मध्य प्रदेश के सिवनी जिले के आदिवासी बाहुल्य घंसौर विकासखण्ड में डाले जाने वाले 1260 मेगावाट के पावर प्लांट से बिजली तो कम स्थानीय स्तर पर निवासियों के लिए परेशानी ज्यादा पैदा होने की उम्मीद जताई जा रही है। प्रदूषण नियंत्रण मण्डल की सांठगांठ से नियम कायदों को दरकिनार कर डाले जा रहे इस पावर प्लांट के आरंभ होते ही स्थानीय स्तर पर लोगों को बीमारियां अगर घेर लें तो किसी को आश्चर्य नहीं होना चाहिए।
वन एवं पर्यावरण मंत्रालय के सूत्रों ने समाचार एजेंसी ऑॅफ इंडिया को बताया कि पर्यावरण मामलों की जानी-मानी संस्था ग्रीनपीस और अर्बन इमिशंस द्वारा मुंबई के कंजर्वेशन एक्शन ट्रस्ट की अगुवाई में की गई एक स्टडी से अनेक चौंकाने वाले आंकड़े सामने आए हैं। रिपोर्ट में कहा गया है कि देश मे डले पावर प्लांट्स से उत्सर्जित उर्जा, विकिरण, धुआं, राख आदि तमाम कारणों से अकेले 2011-12 में ही करीब एक लाख लोग अकाल मौत के शिकार हो गए। इसके अलावा लाखों अन्य लोग गंभीर बीमारियों की चपेट में हैं और इनके इलाज पर हर साल आम जनता का करीब 23 हजार करोड़ रुपया खर्च हो रहा है। कोयला आधारित पावर प्लांट्स के कारण होने वाली मौतों और बीमारियों के बारे में यह देश की पहली व्यापक स्टडी है। इसमें 111 पावर प्लांट्स से जुड़े आंकड़ों को शामिल किया गया है।
सूत्रों ने साई न्यूज को आगे बताया कि रिपोर्ट में कहा गया है कि दिल्ली, हरियाणा, पश्चिम बंगाल और झारखंड में इन प्लांट्स से पैदा होने वाली समस्या सबसे ज्यादा गंभीर है। 2012 में इन प्लांट्स से होने वाले उत्सर्जन के कारण दिल्ली और हरियाणा क्षेत्र में 8800 और पश्चिम बंगाल, झारखंड में 14900 लोगों को जान से हाथ धोना पड़ा। मध्य प्रदेश, छत्तीसगढ़ और उड़ीसा में इसी दौरान 11 हजार लोगों की जान गई।
सूत्रों ने बताया कि उत्सर्जन के कारण वर्ष 2011-12 में पांच साल से कम उम्र के करीब 10 हजार बच्चों की मौत हुई, इसके अलावा 62 करोड़ को सांस लेने में परेशानी का सामना करना पड़ा। इतना ही नहीं 84 लाख को सीने में जलन आदि जैसी समस्याएं सामने आईं और दो करोड़ लोगों को अस्थमा की बीमारी हुई। इस दौरान अस्पताल में आपातकाल विभाग में नौ लाख लोगों ने आमद दी थी।
इस आधार पर यह माना जा सकता है कि अगर सावधानी के बिना सरकारी तंत्र के साथ मिलकर सांठगांठ के जरिए घंसौर में मेसर्स झाबुआ पावर लिमिटेड का पावर प्लांट और अन्य दो प्रस्तावित पावर प्लांट डलते हैं तो आने वाले समय में सिवनी जिले के घंसौर में बीमारों और बीमारी से मरने वालों की तादाद में विस्फोटक बढ़ोत्तरी होना तय है।
(क्रमशः जारी)

बालाघाट जबलपुर का काम रूका है फोरलेन के कारण


0 सिवनी से नहीं चल पाएगी पेंच व्हेली ट्रेन . . . 17

बालाघाट जबलपुर का काम रूका है फोरलेन के कारण

(संजीव प्रताप सिंह)

सिवनी (साई)। बालाघाट से नैनपुर रेल लाईन में नेरो गेज से ब्राडगेज अमान परिवर्तन का काम वन विभाग के क्लीयरसेंस का काम अभी भी रूका हुआ है। यह क्लीयरेंस कब मिलेगा इस बारे में कहा नहीं जा सकता है, किन्तु कहा जा रहा है कि अगर इसे क्लीयरेेस दे दिया गया तो फिर सिवनी जिले में वाईल्ड लाईफ कारीडोर के नाम पर फोरलेन में फसे फच्चर को हटाने के मार्ग अपने आप प्रशस्त हो जाएंगे।
रेल्वे बोर्ड के सूत्रों ने समाचार एजेंसी ऑफ इंडिया को बताया कि बालाघाट नैनपुर जबलपुर रेल खण्ड के अमान परिवर्तन का काम वास्तविक तौर पर गोंदिया से जबलपुर रेल खण्ड के अमान परिवर्तन का ही हिस्सा है। यह प्रथक से कोई नई परियोजना नहीं है। इसमें एक ब्रांच लाईन बालाघाट कटंगी भी जोड़ी गई है।
रेल्वे बोर्ड के सूत्रों ने साई न्यूज को आगे बताया कि गोंदिया से बालाघाट मेल लाईन और बालाघाट से कटंगी ब्रांच लाईन का काम पूरा हो चुका है। इस मूल परियोजना मे अब तक 63 फीसदी काम पूरा हो चुका है। शेष काम में बालाघाट और सिवनी जिले की वन भूमि का अडंगा प्रमुख समस्या के रूप में सामने आ रहा है।
सूत्रों ने समाचार एजेंसी ऑफ इंडिया को आगे बताया कि गोंदिया से जबलपुर अमान परिवर्तन के काम की परियोजना को 1037.90 करोड़ की धनराशि से पूरा किया जाना प्रस्तावित था। इस परियोजना में बालाघाट और सिवनी जिले के वन विभाग की भूमि के हस्तांतरण होने के उपरांत वन भूमि का रेल्वे को मिलने की तिथि से तीन वर्ष के अंदर इस परियोजना को मूर्तरूप दिया जा सकेगा।
सूत्रों ने यह भी बताया कि उद्योगपति गौतम थापर के स्वामित्व वाले अवंथा समूह के सहयोगी प्रतिष्ठान मेसर्स झाबुआ पावर लिमिटेड के द्वारा घंसौर में डाले जा रहे पावर प्लांट में कोयला आपूर्ति के लिए जबलपुर से नैनपुर तक के रेल खण्ड का अमान परिवर्तन का काम युद्ध स्तर पर जारी है।
सूत्रों ने यह भी कहा कि अगर बालाघाट से नैनपुर तक के अमान परिवर्तन में वन विभाग की बाधाएं हटा दी गईं तो इसी आधार पर सिवनी से नागपुर जाने वाले नेशनल हाईवे के फोरलेन कारीडोर जिसे रोकने के लिए कांग्रेस और भाजपा के नेता पुरजोर कोशिश कर रहे हैं के बनने के मार्ग प्रशस्त हो जाएंगे, संभवतः यही कारण है कि इस रेल खण्ड को अभी उलझाए रखा गया है।
(क्रमशः जारी)

सच्चाई उजागर करने वालों को प्रताड़ित कर रहा जनसंपर्क


लाजपत ने लूट लिया जनसंपर्क ------------------ 73

सच्चाई उजागर करने वालों को प्रताड़ित कर रहा जनसंपर्क

(एस.के.भारद्वाज)

भोपाल (साई)। म.प्र. विधानसभा में 13 मार्च को चालू बजट सत्र के दौरान  जनसंपर्क मंत्री लक्ष्मीकान्त शर्मा ने अपने से संबद्ध विभाग संस्कृति ,जनसंपर्क,उच्चशिक्षा,तकनीकी शिक्षा एवं कौशल विकास,धार्मिक न्यास,एवं धर्मस्व ,तकनीकी शिक्षा एवं प्रशिक्षण विभाग से संबंधित विदेशों से सहायता प्राप्त परियोजनाओं  के लिए मांग संख्या 26,32,44,47,51, को अनुदान मांगों की चर्चा एवं मतदान के लिए सदन में रखा।
जनसंपर्क मंत्री लक्ष्मीकान्त शर्मा ने जैसे ही मांगों का प्रस्ताव रखा तब पत्रकार दीर्घा पत्रकारों से खचाखच भरी थी। जो अधिकांशतः दोपहर के बाद पत्रकारों की उपस्थिति के मामले में सत्तापक्ष के समान बहुत कम रहती है। विधानसभा अध्यक्ष द्वारा सदस्यों के नाम पुकारे जाने पर सदस्यों  ने अपने विचार रखे ,विभागों में खामिया,भ्रष्टाचार ,पनप रही अराजकता,पारदर्शिता की कमीं के बारे में मंत्री जो ध्यानाकर्षण कराया।
चर्चा के दौरान निर्दलीय विधायक पारस सकलेचा दादा ने कहा कि व्यावसायिक परीक्षा मण्डल द्वारा पी.ई.टी.की परीक्षा कराने का क्या औचित्य है जब छात्रों का एडमीशन बिना परीक्षा के कालेजों द्वारा दिये जा रहे है। मठ मंदिरों की हजारों एकड़ भूमि पर अतिक्रमणकारियों ने कब्जा कर रखा है।
दूसरे अन्य सदस्यों ने भी कुछ चिन्ताऐं जाहिर की जिनमें व्यापम द्वारा छात्रों से फीस के लिए मोटी रकम बसूलना,छात्राओं के शिक्षण बी.एच.सी.जैसे कोर्स के लिए 20 हजार रूपयें की मोटी रकम वसूलना ,पुराने महाविद्यालयों की दुर्दशा ,अनेकों महाविद्यालयों में कम्प्यूटरों की तो भरमार है, परन्तु नेट कनेकशन नही है,छात्र,छात्राऐं बाजार में जाते है परेशान होते है। आदि से संबंधित अपने विचार रखे। सदन के सदस्यों के भाषण सुनने के बाद मंत्री लक्ष्मीकान्त शर्मा ने बजट में विभागवार किये गये प्रावधानों के बारे में बताना जैसे ही प्रारंम्भ किया मीडिया गैलरी में एक सन्नाटे के साथ सुनने की उत्सुकता बढ़ गयी।
मंत्री लक्ष्मीकान्त शर्मा ने अपनी मांगों के अनुरूप योजनाओं का पिटारा खोला। मंत्री लक्ष्मीकान्त शर्मा के बजट भाषण के पूरे समय में कोई उल्लेखनीय घोषणा नहीं गयीं,अधिकांश भाषण के अंश शुल्क पर आधारित शिक्षा,वर्ष 2020 में तकनीकी योग्य ,प्रशिक्षित युवाओं की विभिन्न उद्योगों में जरूरत की संभावना पर आधारित रहा।
मंत्री लक्ष्मीकान्त शर्मा ने जिला गुना के करीला स्थित सीता माता मंदिर पर एक शेड बनवाने एवं मदिर पर होने वाले मेले को मेला प्राधिकरण में शामिल करने की घोषणा यह कहते हुए की कि यह मेरा आस्था का स्थान है मैं यहॉ प्रति वर्ष जाता हूॅ। मंदिरों में सेवारत पुजारियों को मानदेय दो गुना करने की भी घोषणा की परन्तु सदन में यह नही बता पाये कि पहले कितना मानदेय था और अब कितना किया गया है। कालेजों की बेहताशाफीस पर मंत्री जी ने कहा हम देखेंगें।
अराजकता, भ्रष्टाचार ,विभागों में पारदर्शिता वाले मुद्दो पर मंत्री लक्ष्मीकान्त शर्मा ने चुप्पी ही साधे रखी। मंत्री लक्ष्मीकान्त शर्मा ने अपने मूल विभाग जनसंपर्क के लिए 180 करोड़ से अधिक का बजट प्रस्ताव रखा जिसमें कोई भी न उपलब्धी बतायी और न कोई आगामी कार्य योजना।
हॉ इस विभाग के अधीन पत्रकारों के लिए पूर्व से निर्धारित एक लाख रूपये की बीमा योजना को 2 लाख रूपये करने की घोषणा अवश्य कर दी है। जनसंपर्क मंत्री लक्ष्मीकान्त शर्मा ने जनसंपर्क विभाग,संचालनालय में फैली अराजकता,विज्ञापन के नाम पर अपात्रों,गैरपत्रकारों,एवं भ्रष्टाचार के तहत होन वाली निरन्तर लूट के मामले में एक टूटा-फूटा शब्द भी नहीं बोला। जैसा कि आम समाज में चर्चा रहती है लोग कहते है कि पत्रकारों को सरक ार खूब प्रोत्साहित करती है। खूब सुविधाऐं र्,आिर्थक सहयोग देती है,ये सब म.प्र. में सुनने में बहुत अच्छा लगता है, सच्चाई इसके बिल्कुल विपरीत है।
म.प्र. सरकार द्वारा पत्रकारों को दी जाने वाली सुविधाओं में केवल चुनिन्दा लोगो को अधिमान्यता प्रदान करती है। उस अधिमान्यता के आधार पर भारतीय रेल किराये की राशि में आधी राशि की रियायत देती है। गैरअधिमान्यता पत्रकारों को सरकार के नौकरशाह पत्रकार ही पत्रकारों कों पत्रकार ही नही मानते। आर्थिक मदद के नाम पर दिये जाने वाले विज्ञापनों  को शासन के हर विभाग का प्रकाशन कराने का काम जनसंपर्क संचालनालय का है।
इन विज्ञापनों की राशि का आधे से भी अधिक हिस्सा कार्पाेरेट हाउसनुमा स्थापित बड़े-बड़े अखबार,पत्रिकाऐं,न्यूज चौनल्स को सौंप दिया जाता है। इन कार्पाेरेट हाउसनुमा स्थापित बड़े-बड़े अखबार,पत्रिकाऐं,न्यूज चौनल्स में सेवारत पत्रकारों का मालिक/संपादक लोग शारीरिकश्रम ,मानसिक शोषण करते है। लाख प्रयासों के बावजूद यहॉ श्रम कानून लागू नहीं हो पाया है। जस्टिस मजीठिया की रिपोर्ट तथा भारत के सर्वाेच्च न्यायालय का आदेश भी बौना साबित हो गया है। अखबार ,चौनल के कार्यालय में व्यक्ति पत्रकार कर्मचारी नहीं तनख्वाह लेने वाला रोबोटनुमा बंधुआ आज्ञाकारी है। उसे वही खबर बनानी है,जिससे सरकार का कोई नुमाइन्दा नाराज न हो जाय। ये अपने बॉस कार्यालय में मायूस नजर आते है , और मंत्रियों अधिकारियो के सामने एक संस्थान के लाइजनर,लेकिन आम जनता इन्हें महाबली मानती हैं। यह एक भ्रमजाल है। वह कोई महाबली नहीं,एक आम आदमी जैसा पीड़ित और शोषित प्राणी है। बजट का लगभग 30 से 35 प्रतिशत हिस्सा मंत्रीगणों के खास,कुछ अधिकारियों कर्मचारियों के परिवारों के द्वारा प्रकाशित अनाम प्रकाशनों के नाम हस्तांतरित कर दिया जाता है। इसके बाद नम्बर आता है, पत्रकारिता से जुड़े वास्तविक पत्रकारों का। उसमें मुख्यमंत्री निवास और मंत्री जी का,संचालनालय के अधिकारियों को मौखिक  फरमानाम मिलता है,कि किन-किन पत्रकारों को विज्ञापन देना है किनको नहीं देना। यहॉ अधिकारियों के लिए कार्य और जिम्मेदारी तय कर दी जाती है,कि पत्रकारों की गुणवत्ता,उसका किस दल,संगठन के किस व्यक्ति के साथ कैसा व्यवहार है। सरकार के पक्ष में लिखता है कि विरोध में। पेपर छपता भी है,तो बॉटता कहां पर है। अगर  पत्रकार और उसका अखबार अधिकारियों के मनमाफिक  मापदण्ड में नहीं आ रहा है तो उसे सीधा-सीधा मना तो नहीं करना है परन्तु कुछ हिदायती बातें,कुछ विज्ञापन हासिल करने के नुस्खे कुछ टिप्स में देकर परम्परागत तरीके से टाल दिया जाता है।
और लाभ लेने के इच्छुक पत्रकार की दिन चर्या राम भरोसे इसी तरह चलती रहती है। किसी पत्रकार के साथ घटना,दुर्घटना होने की स्थिति में उसे स्वास्थ्य बीमा योजना का लाभ किस प्रकार और कौन पात्र ले पायेगा। ये बताने की आवश्कता नहीं है। जरूरत मंद सुविधाओं के लिए तड़पते रहते हैं। तथा अधिकारियों और मंत्री के चापलूसनुमा पत्रकार फर्जी मेडीकल बिलों के द्वारा मेडीक्लेम हासिल करते रहते है। इस भ्रष्ट गंगा में अनुशंसा करने वाले अधिकारी और फर्जी बिल निर्माता डाक्टरों की पौबारह बनी रहती है। एक सुविधा है रिपोर्टिग के लिए पत्रकार वाहन सुविधा। संचालनालय का वर्षों के अनुभव के आधार पर में दावे के साथ कह सकता हूॅ कि अधिमान्य ,वास्तविक एवं मूल पत्रकारों में से 2 प्रतिशत को भी कभी वाहन नहीं मिलता है। इसका भरपूर उपयोग विभाग के कर्मचारी अधिकारी,सत्ताधारी नेतागण,उनके रिश्तेदारों को उनकी जरूरतों ,और कभी कभी सैर सपाटे एवं अय्यासी के लिए पत्रकारों के नाम पर आंबंटित कर दे दिये जाते है। यह सब जगजाहिर है। पूरे म.प्र. में पत्रकारों को एक भी सुविधा मुहैया नहीं करायी जाती हैं। इसके विपरीत जिन पत्रकारों के साथ मनमाफिक समाचार प्रकाशन और कमीशन तय हो जाता है,उन्हें उनकी हैसियत से सौगुना अधिक तक का आर्थिक सहयोग लाभ ,करोड़ों का विज्ञापन लाभ एवं सभी वांछित सुविधाऐं एक साधारण संदेश पर ही प्रदान करा दी जाती है।
प्रदेश में हजारों श्रमजीवी पत्रकारों की तुलना में सुविधा की दृष्टि से बी.पी.एल.कार्ड धारक कई गुना सुविधा प्राप्त हर रहा है। उसे 2 लाख रूपये तक का इलाज , बच्चों शिक्षण शुल्क में छूट,नाम मात्र की राशि में प्रतिमाह अनाज,केरोसिन,लगभग हर विभाग द्वारा चलायी जा रहीं कल्याणकारी योजनाओं में उसे प्राथमिकता के हिसाब से पात्रता है। जबकि कार्पाेरेट हाउसनुमा स्थापित बड़े-बड़े अखबार,पत्रिकाऐं,न्यूज चौनल्स में सेवारत पत्रकारों को अनुबंधित बेतन और स्वतंत्र पत्रकारों को हर अपनी  जरूरत के लिए कदम कदम पर आम लोगो की तरह जेब ढीली करनी पड़ती। गॉव से लेकर महानगर तक खबरों के लिए ऑकड़ों का संकलन ,आम अवाम की सच्ची पीड़ा और सरकारी योजनाओं का अपनी आखों से दूर दराज के इलाके में जा-जा कर समाचार संकलन कर प्रकाशन करने वाले पत्रकारों के लिए सरकार की कोई सहयोग करने की न कोई नीति है न न सहयोग और न महत्व। हाँ ऐसे पत्रकार जो खबरों के लिए ऑकड़ों का संकलन ,आम अवाम की सच्ची पीड़ा और सरकारी योजनाओं का अपनी आखों से दूर दराज के इलाके में जा-जा कर समाचार संकलन कर प्रकाशन करने का काम करते है। जिनसे सरकार को शर्मिन्दगी महसूस होती है उन्हें रोकने के लिए ग्रह विभाग के माध्यम से अधिकारियों द्वारा पुलिस थाने में तत्काल रिर्पेाट कराने के लिए आदेशित जरूर कर रखा है। कहना न होगा कि यहॉ पत्रकार वर्ग वह वर्ग है जिसे सरकार पचा नहीं पा रहीं। जनता विश्वास हटा नही पा रही है। राजनीति उसका अतिदोहन करने पर आमादा है। रही गैरपत्रकारों और लाइजनरों की तो वह तो सदा से चापलूस और सुविधा भोगी रहे है। ऐसे लोगो से दिल्ली की सब्जी मण्डी और लाहोरी गेट जैसा बाजार हर जगह अटा पड़ा है।
हिन्दुत्व विरोधी,आंकड़ो का झूठा प्रचार
यही है मध्यप्रदेश सरकार

चार दिन में पेश हो जाएगा विधेयक: कमल नाथ


चार दिन में पेश हो जाएगा विधेयक: कमल नाथ

(शरद)

नई दिल्ली (साई)। विरोध, समर्थन शोर शराबे के बाद सरकार ने आपराधिक कानून (संशोधन) विधेयक-२०१३ आज लोकसभा में पेश किया। शहरी विकास और संसदीय कार्यमंत्री कमल नाथ ने उम्मीद जाहिर की है कि अगले चार दिन में संसद इस विधेयक को पारित कर देगी।
संसदीय कार्य मंत्री कमल नाथ ने कहा कि महत्त्वपूर्ण बात यह है कि इस सत्र में चार दिन के भीतर यह विधेयक पारित हो। सहमति की उम्र सहित अन्य पहलुओं पर पार्टियों की अपनी चिंताएं है। सहमति की उम्र पहले १६ वर्ष रखी गई थी, हम इसे १८ वर्ष करने पर सहमत है।
ज्ञातव्य है कि कल केन्द्रीय मंत्रिमंडल ने इस विधेयक को कुछ संशोधनों के साथ मंजूरी दी, जिसमें सहमति से यौन संबंध बनाने की उम्र १६ की बजाय १८ साल ही रखी गई है। मंत्रिमंडल की बैठक के बाद, महिला और बाल विकास मंत्री कृष्णा तीरथ ने बताया कि किसी का पीछा करना, पहली बार में जमानती अपराध होगा लेकिन इसकी पुनरावृति करने पर यह गैर-जमानती अपराध होगा। इसी तरह से घूरना, पहली दफा जमानती अपराध होगा लेकिन इसके बाद उसे गैर-जमानती माना जाएगा। विधेयक की कुछ विवादास्पद धाराओं के बारे में मतभेद दूर करने के लिए कल नई दिल्ली में दो बार सर्वदलीय बैठक में विचार किया गया।

श्रीलंका मामले में संसद में हो प्रस्ताव पारित


श्रीलंका मामले में संसद में हो प्रस्ताव पारित

(प्रीति सक्सेना)

चेन्नई (साई)। डीएमके प्रमुख एम. करूणानिधि ने संयुक्त राष्ट्र मानवाधिकार परिषद में श्रीलंका पर अमरीका-समर्थित प्रस्ताव के मसौदे में संशोधन के लिए संसद में प्रस्ताव पारित करने की मांग की है। केन्द्रीय मंत्रियों पी. चिदम्बरम, ए. के. एंटनी और गुलाम नबी आजाद के साथ कल चेन्नई में दो घंटे तक विचार-विमर्श करने के बाद करूणानिधि ने बताया कि संशोधन में, युद्ध अपराधों के आरोपों की जांच के लिए स्वतंत्र अंतर्राष्ट्रीय आयोग का गठन करना शामिल है।
श्री करूणानिधि ने कहा कि श्रीलंका सेना और प्रशासन पर नरसंहार और युद्ध अपराधों के मामले भी शामिल किए जाने चाहिए। गुलाम नबी आजाद ने कहा कि प्रधानमंत्री को चर्चा के नतीजों से अवगत कराया जाएगा। डीएमके, संयुक्त प्रगतिशील गठबंधन में शामिल है और वह श्रीलंका के मुद्दे पर सरकार पर दवाब बढा रही है।
इस बीच, तमिलनाडु में यह मामला तूल पकड़ता जा रहा है। सभी राजनीतिक दलों ने कहा है कि भारत को प्रस्ताव के मसौदे पर अपना रूख स्पष्ट करना चाहिए और कथित युद्ध अपराधों की स्वतंत्र जांच का समर्थन करना चाहिए। छात्र भी राज्यभर में शांतिपूर्ण विरोध प्रदर्शनों के जरिए यही मांग कर रहे हैं। राज्य के पांच सौ से अधिक कॉलेज अगली सूचना तक के लिए बंद हैं।

अमरनाथ यात्रा की तैयारियां आरंभ


अमरनाथ यात्रा की तैयारियां आरंभ

(विनोद नेगी)

जम्मू (साई)। इस साल 28 जून से शुरु होने वाली अमरनाथ यात्रा के लिये 400 से भी अधिक बैंक शाखाओं के जरिये श्रद्धालुओं का पंजीकरण आज शुरु हुआ। यात्रा के दोनों मार्गों (बालटाल और चंदनवारी) के लिये पंजीकरण प्रक्रिया देश भर में जम्मू एंड कश्मीर बैंक, स्टेट बैंक ऑफ इंडिया, यस बैंक, एचडीएफसी बैंक और पंजाब नेशनल बैंक की 442 शाखाओं के जरिये शुरु हुयी। जम्मू कश्मीर के राज्यपाल एवं श्रीअमरनाथ श्रइन बोर्ड के अध्यक्ष एन एन वोहरा ने कहा कि वैध पंजीकरण वाले सभी श्रद्धालुओं को यात्रा के दौरान दुर्घटना से होने वाली मौत के एवज में एक-एक लाख रुपये का बीमा कवर मिलेगा।

शिक्षा को कारोबार ना बनाया जाए: कलाम


शिक्षा को कारोबार ना बनाया जाए: कलाम

(शरद)

नई दिल्ली (साई)। शिक्षा को दो तीन दशकों से व्यवसाय बना लिया गया है। जगह जगह कुकुरमुत्ते की तरह शिक्षा की दुकानें सजी हुई हैं। कोर्स की किताबों से लेेकर शालेय गणवेश तक में कमीशन का जबर्दस्त बोलबाला होता है। डोनेशन और केपीटेशन फीस ना लेने के न्यायालय के फैसले के बाद भी शाला संचालक बाज नहीं आ रहे हैं। डॉ.कलाम को इसकी चिंता सता रही है।
पूर्व राष्ट्रपति डॉ. एपीजे अब्दुल कलाम ने शिक्षा के बाजारीकरण का विरोध करते हुए कहा कि इसे कारोबार नहीं बनाना चाहिए बल्कि अच्छे शिक्षकों द्वारा यह प्रदान की जानी चाहिए। कलाम ने कहा कि शिक्षा कारोबार की वस्तु नहीं हो सकती। प्राथमिक स्तर पर शिक्षा अच्छे शिक्षकों द्वारा अच्छे पाठ्यक्रम के माध्यम से समेकित तरीके से दी जानी चाहिए। साथ ही, अभिभावक, छात्र और शिक्षकों के बीच घनिष्ठ संबंध को बढ़ावा दिया जाना चाहिए।
कलाम ने नेशनल हाई स्कूल के शताब्दी समारोह में छात्रों के साथ एक परिचर्चा में अपने स्कूल का उदाहरण पेश करते हुए कहा कि उनके स्कूल के दिन रामेश्वर पंचायत प्राइमरी स्कूल के सुविधाहीन होने के बावजूद खुशी भरे थे। उन्होंने बताया कि उनके शिक्षकों का उद्देश्य शिक्षा का प्रसार करना था और उनके शिक्षकों को सभी छात्र पसंद करते थे तथा बीच में कोई छात्र पढाई भी नहीं छोड़ता था। वैज्ञानिक होने के अलावा देश के राष्ट्रपति पद को सुशोभित कर चुके 81 वर्षीय मिसाइल मैनने कहा कि वह अध्यापन पसंद करते हैं।
कलाम ने कहा, ‘‘मैं एक शिक्षक, एक वैज्ञानिक और प्रशासक रहा हूं। अब मैं फिर से अध्यापन की ओर लौटा हूं। यदि आप मुझसे पूछते हैं कि मुङो सबसे ज्यादा क्या पसंद है, तो मेरा जवाब होगा अध्यापन।’’छात्रों से मिलने के लिए कलाम नियमित तौर पर पूरे देश की यात्र किया करते हैं। कलाम ने जब छात्रों से पूछा कि स्कूल से पास होकर निकलने के बाद वह वहां से क्या लेकर जाएंगे, छात्रों ने कहा, ‘‘ज्ञान।’’इस पर कलाम ने कहा, ‘‘ज्ञान का अर्थ है रचनात्मकता और सदाचार तथा साहस।’’
कलाम ने अगले पांच साल के लिए अपना विजन पेश करते हुए कहा, ‘‘हम एक ऐसा राष्ट्र चाहते हैं जहां महिलाओं और बच्चों के खिलाफ अपराध नहीं हो तथा समाज में कोई भी व्यक्ति खुद को अलग थलग महसूस नहीं करे।’’कलाम ने कहा कि वह एक ऐसा राष्ट्र चाहते हैं जहां गांव और शहर के बीच बहुत कम अंतर हो। वह चाहते हैं कि शासन पारदर्शी और भ्रष्टाचार मुक्त हो।

पेंशन की राशि पर्याप्त नहीं: केंद्र सरकार


पेंशन की राशि पर्याप्त नहीं: केंद्र सरकार

(महेश)

नई दिल्ली (साई)। देश में विधवाओं, विकलांगों और बुजुर्गों को दी जाने वाली पेंशन राशि पर्याप्त नहीं है। यह बात पेंशन पाने वाले तो कह ही रहे हैं अब तो सरकार भी इसी बात को दोहरा रही है। सरकार ने कहा है कि शीघ्र ही इस योजना के मानकों में बदलाव किया जाएगा। ग्रामीण विकास मंत्री जयराम रमेश ने प्रश्नकाल के दौरान विपक्षी सदस्यों के इस मत से सहमति जताई कि पेंशन योजना में बदलाव और पेंशन राशि बढ़ाए जाने की जरूरत है। उन्होंने कहा कि पेंशन की पात्रता में भी बदलाव किया जाएगा।
जयराम रमेश ने कहा कि इस समय विधवाओं को 300 रुपये, विकलांगों को 300 रुपये, वृद्धों को 200 रुपये तथा 80 साल से ज्यादा उम्र के बुजुर्गों को 500 रुपये महीने पेंशन दी जा रही है। उन्होंने साफ कहा कि यह रकम पर्याप्त नहीं है। साथ ही यह भी कहा कि ज्यादातर राज्यों में इस पेंशन राशि का डिस्ट्रीब्यूशन भी वक्त पर नहीं किया जा रहा है। उन्होंने कहा कि सरकार इस रकम को बढ़ाने पर विचार कर रही है। अगले दो तीन महीनों में इस बारे में कोई न कोई फैसला कर लिया जाएगा।
ग्रामीण विकास मंत्री ने कहा कि केंद्र सरकार, विकलांगों, विधवाओं और बुजुर्गों के लिए पेंशन के मद में राज्यों को अनुदान देती है। कुछ राज्य सरकारें अपनी और से भी पेंशन राशि देती है। हम चाहते है कि जितनी राशि केंद्र सरकार देती है उतनी ही राशि राज्य सरकारें भी अपनी ओर से मिलाएं, लेकिन ज्यादातर राज्य ऐसा नहीं कर रहे है।
उन्होंने कहा कि विकलांग पेंशन के लिए शारीरिक अक्षमता की परिभाषा भी सीमित है। अभी 80 प्रतिशत अक्षमता पर ही पेंशन दी जा रही है। इसे कम कर के 40 फीसदी किया जाना चाहिए। रमेश ने जोर देकर कहा हम पेंशन और उसकी पात्रता की परिभाषा दोनों में ही बदलाव करने के लिए प्रतिबद्ध है। मेरा मानना है कि पेंशन की राशि सम्मानजनक होनी चाहिए।
ग्रामीण विकास मंत्री ने यह भी बताया कि मिहिर शाह समिति ने पेंशन योजना में व्यापक बदलाव की सिफारिश की है। अगर इन सिफारिशों को मान कर इन्हें लागू किया जाता है तो देश में पेंशन पाने वालों की तादाद दो करोड़ 60 लाख से बढ़कर नौ करोड़ तक पहुंच जाएगी। इस समय सरकार पेंशन पर 9500 करोड़ खर्च कर रही है। नए नियमों में यह रकम काफी बढ़ जाएगी।
रमेश ने यह भी कहा कि डायरेक्ट बेनिफिट ट्रांसफर स्कीम लागू हो जाने के बाद पेंशन पाने वाले लोगों को तय समय पर पेंशन मिल जाया करेगी। 

रायपुर : रमन ने दिया मनमोहन को धन्यवाद


रमन ने दिया मनमोहन को धन्यवाद

(एन.के.श्रीवास्तव)

रायपुर (साई)। छत्तीसगढ़ के मुख्यमंत्री डॉ. रमन सिंह द्वारा प्रधानमंत्री डॉ. मनमोहन सिंह को भेजे गए पत्र की आज केन्द्र सरकार में सकारात्मक प्रतिक्रिया देखने को मिली, जब प्रधानमंत्री की अध्यक्षता में केन्द्रीय केबिनेट ने यौन हिंसा के खिलाफ प्रस्तावित नये कानून के मसौदे में सहमति से सेक्स के लिए 16 वर्ष की उम्र रखने के अपने फैसले को पलटते हुए उसे यथावत 18 वर्ष रखने का निर्णय लिया। मुख्यमंत्री ने केन्द्रीय केबिनेट के इस नये निर्णय के बारे में आज रात में मीडिया के माध्यम से जानकारी मिलने पर प्रधानमंत्री के प्रति आभार प्रकट किया है। उल्लेखनीय है कि डॉ. रमन सिंह ने प्रधानमंत्री को कल भेजे गए पत्र में सहमति सेक्स के लिए 16 वर्ष की आयु रखने के केन्द्र के फैसले को महानगरीय मानसिकता का नतीजा बताते हुए इस पर पुनर्विचार का अनुरोध किया था। मुख्यमंत्री ने पत्र में यह भी लिखा था कि फैसला देश के सामाजिक ताने-बाने को छिन्न-भिन्न कर सकता है। इससे हमारी नई पीढ़ी पर इसका बुरा असर होगा। मुख्यमंत्री ने यह भी लिखा था कि इस प्रकार का निर्णय सम्पूर्ण भारतीय सामाजिक व्यवस्था और हमारी प्राचीन भारतीय संस्कृति पर आघात के समान होगा। यह विवाह की पवित्र परम्परा और संस्कार के भी खिलाफ होगा, जो हमारी भारतीय संस्कृति का सबसे महत्वपूर्ण हिस्सा है। मुख्यमंत्री ने लिखा था कि ऐसा लगता है कि इस प्रकार का निर्णय बहुसंख्यक समाज की भावना और संस्कारों के विपरित कुछ पाश्चात्य विचारों से प्रेरित लोगों को ध्यान में रखकर लिया गया है। डॉ. रमन सिंह ने प्रधानमंत्री को यह भी लिखा था कि शारीरिक विकास पोषण की मांग करता है और ग्रामीण क्षेत्र के गरीब इस मापदंड में पिछड़े हुए है। ऐसे में 16 वर्ष की उम्र में यौन संबंधों के लिए न तो उनका शरीर मानसिक और शारीरिक दोनो तरीकों से इसके लिए परिपक्व नहीं होगा। अधिकांश चिकित्सा विषेषज्ञों ने भी 16 वर्ष की उम्र को इन संबंधों के लिए खतरनाक बताया है। मुख्यमंत्री ने प्रधानमंत्री को यह भी विश्वास दिलाया है कि छत्तीसगढ़ सरकार देश में यौन हिंसा के खिलाफ बनने वाले कानून कड़ाई से पालन करेगी।

मुख्यमंत्री के प्रयासों से अकाल मुक्त हुआ छत्तीसगढ़ - अशोक बजाज

(अभय नायक)

रायपुर (साई)। मुख्यमंत्री डॉ. रमन सिंह के नेतृत्व में राज्य सरकार के प्रयासों से छत्तीसगढ़ अकाल मुक्त और पलायन मुक्त होकर विगत लगभग दस वर्षाे से लगातार विकास की राह पर आगे बढ़ रहा है। छत्तीसगढ़ राज्य भंडारगृह निगम अध्यक्ष अशोक बजाज ने आज यह बात कही। बजाज ने रायपुर जिले के अभनपुर में आज निगम के एक करोड़ 60 लाख रु. की लागत से निर्मित 5400 मीटरिक टन क्षमता के तीन नए गोदामों का लोकार्पण और एक करोड़ 80 लाख रु. की लागत से बनने वाले इतनी ही भण्डारण क्षमता क तीन नये गोदामों का भूमिपूजन किया।
इस अवसर पर निगम द्वारा अनाज भण्डारण की वैज्ञानिक तकनीक पर किसानों के लिए संगोष्ठी का भी आयोजन किया गया, जिसमें क्षेत्र के तीन हजार से अधिक किसान शामिल हुए। केन्द्रीय भण्डारण निगम के क्षेत्रीय प्रबंधक आर. के. सिंह ने प्रोजेक्टर के माध्यम से अनाज भण्डारण के वैज्ञानिक तरीकों की जानकारी दी। उपस्थित किसान प्रतिनिधियों को संबोधित करते हुए निगम अध्यक्ष अशोक बजाज ने कहा कि अन्न की सुरक्षा हेतु राज्य सरकार अत्यंत गंभीर है , इसी का परिणाम है कि मुख्यमंत्री डा. रमन सिंह के निर्देश पर पिछले दो-तीन वर्षों में प्रदेश में अनाज भण्डारण क्षमता में दोगुनी वृध्दि की गई है . बजाज ने कहा कि इस वर्ष प्रदेश सरकार ने करीब नौ हजार करोड़ रूपए मूल्य के लगभग 71 लाख मीटरिक टन धान की  खरीदी समितियों के माध्यम से की है जो कि एक नया कीर्तिमान है . उन्होंने कहा कि मुख्यमंत्री डा. रमन सिंह के प्रयासों से प्रदेश अकाल मुक्त हुआ है . इस अवसर पर मार्कफेड के अध्यक्ष राधाकृष्ण गुप्ता और ब्लॉग लेखक ललित शर्मा सहित सर्वश्री बलराम तिवारी , सुनील मिश्रा, व्यासनारायण साहू , अशोक गाँधी, युधिष्ठिर चंद्राकर , प्राथमिक सहकारी समिति के अध्यक्ष राघवेन्द्र साहू, तथा किसान प्रतिनिधि सर्वश्री विकास चंद्राकर , प्रदीप शर्मा, छन्नू साहू , सोमेश पण्डे,मदन साहू, मधुसूदन धृतलहरे, सूरज साहू, निगम प्रबंधक रितेश अग्रवाल भी उपस्थित थे।

रायपुर : पत्रकारों के हितैषी बने रमन सिंह


पत्रकारों के हितैषी बने रमन सिंह

(आंचल झा)

रायपुर (साई)। मुख्यमंत्री डॉ. रमन सिंह ने आज विधानसभा में राज्य सरकार ने छत्तीसगढ़ के इतिहास में पहली बार पत्रकारों के लिए दो बड़ी कल्याणकारी योजनाओं की शुरूआत करने का निर्णय लिया है। उन्होंने जनसम्पर्क विभाग की बजट अनुदान मांगों का उल्लेख करते हुए बताया कि पत्रकारों और मीडिया कर्मियों के लिए दुर्घटना बीमा योजना शुरू की जाएगी। इसके अंतर्गत सभी सम्पादकों, पत्रकारों, संवाददाताओं और फोटोग्राफरों का पांच लाख रूपए दुर्घटना बीमा किया जाएगा। इसके लिए प्रीमियम राशि में से सिर्फ 25 प्रतिशत यानि 30 रूपए से 40 रूपए का अंशदान संबंधित मीडियाकर्मी को करना होगा। शेष 75  प्रतिशत प्रीमियम राशि का भुगतान राज्य सरकार करेगी। मुख्यमंत्री ने कहा कि पत्रकारिता के क्षेत्र में वरिष्ठ पत्रकारों की आजीवन सेवा का सम्मान करते हुए राज्य सरकार द्वारा वरिष्ठ पत्रकारों के लिए सम्मान निधि योजना शुरू की जाएगी। इस योजना के तहत ऐसे पूर्णकालिक पत्रकारों को, जिन्होंने कम से कम 20 साल किसी दैनिक अथवा साप्ताहिक अखबार में काम किया हो और जो 62 वर्ष की आयु पूर्ण कर चुके हों, ऐेसे वरिष्ठ पत्रकारों को हर महीने पांच हजार रूपए की सम्मान निधि प्रदान की जाएगी। मुख्यमंत्री ने राज्य शासन की जनकल्याणकारी योजनाओं के प्रचार-प्रसार में जनसम्पर्क विभाग और मीडिया जगत के योगदान की भी प्रशंसा की। डॉ. सिंह ने कहा कि राज्य सरकार का यह प्रयास है कि शासन की सभी योजनाओं की जानकारी जन-जन तक पहुंचे। इसके लिए जनसम्पर्क विभाग द्वारा प्रचार-प्रसार के सभी संसाधनों का बेहतर इस्तेमाल किया जा रहा है। इसके फलस्वरूप लोगों तक योजनाओं की जानकारी पहुंच रही है और जनता में अपने अधिकारों के प्रति जागरूकता आयी है, जिससे योजनाओं को भी अच्छी सफलता मिल रही है।
�, खेलएडवेन्चर टूरिज्मधार्मिक और ऐतिहासिक पर्यटन स्थलों को भी बढ़ावा देगा। एयर टैक्सी के माध्यम से प्रदेश के सुदूर इलाकों का भी भ्रमण किया जा सकेगा और इससे होटल व्यवसाय तथा पर्यटन क्षेत्र से जुड़ी व्यवसायिक गतिविधियों को भी बढ़ावा मिलेगा। 

मध्यप्रदेश को दो राष्ट्रीय पर्यटन पुरस्कारों से राष्ट्रपति द्वारा नवाजा गया


मध्यप्रदेश को दो राष्ट्रीय पर्यटन पुरस्कारों से राष्ट्रपति द्वारा नवाजा गया

(प्रदीप चौहान)

नई दिल्ली (साई)। पर्यटन के क्षेत्र मंेे श्रेष्ठ कार्यों और पर्यटन स्थलों को विकसित करने के लिए मध्यप्रदेश को वर्ष 2011-12 के राष्ट्रीय पर्यटन पुरस्कारों से नवाजा गया। पहला पुरस्कार मांडू नगर पालिका जिला धार को श्रेणी के शहर में बेहतर स्वच्छ प्रबंधन और पर्यटन स्थल विकसित करने के लिए और दूसरा बेहतर नवाचार तथा पर्यटन के क्षेत्र में अनूठे प्रयोग-एयर टैक्सी के लिए मध्यप्रदेश को यहां विज्ञान भवन मंे आयोजित एक समारोह में राष्ट्रपति प्रणब मुखर्जी ने राष्ट्रीय पर्यटन पुरस्कारों से सम्मानित किया। 23वे राष्ट्रीय पर्यटन पुरस्कार समारोह की अध्यक्षता केन्द्रीय पर्यटन राज्य मंत्री डॉ0 के0 चिरंजीवि ने की। केन्द्रीय पर्यटन सचिव परवेज दीवान और केन्द्रीय पर्यटन मंत्रालय के वरिष्ठ अधिकारी इस अवसर पर मौजूद थे।
मध्यप्रदेश के पर्यटन मंत्री बृजेन्द्र प्रताप सिंह और प्रमुख सचिव पर्यटन एस.पी.एस. परिहार ने मांडू शहर के बेहतर स्वच्छ प्रबंधन, लोगों को सफाई के प्रति जागरूक करने के लिए राष्ट्रपति से पुरस्कार प्राप्त किया। मांडू नगर पालिका ने शहर के चहुमुखी विकास का कार्य बड़ी बखूबी से निभाया है। नगर पालिका ने स्थानीय लोगों को इस कार्य में शामिल कर एक अभिनव प्रयास किया है। नगर पालिका ने न केवल मांडू शहर को साफ रखा है बल्कि आम लोगों में पर्यावरण के प्रति सजग किया है। मांडू की ऐतिहासिक और धार्मिक धरोहर को मांडू नगर पालिका ने संरक्षित किया है।
पर्यटन के क्षेत्र में अनूठे प्रयोग-एयर टैक्सी के लिए राष्ट्रीय पर्यटन पुरस्कार मध्यप्रदेश पर्यटन विकास निगम के अध्यक्ष डॉ0 मोहन यादव और प्रबंध संचालक राघवेन्द्र कुमार सिंह ने पुरस्कार प्राप्त किया। मध्यप्रदेश देश का पहला ऐसा राज्य बन गया है जिसने राज्य के अंदर एयर टैक्सी सेवा शुरू करने का अनूठा कार्य किया है। यह सेवा मध्यप्रदेश राज्य पर्यटन विकास निगम और मैसर्स वेन्चूरा एयर कनेक्ट प्राइवेट लिमिटेड के संयुक्त प्रयासों से सम्भव हो पाया है। एयर टैक्सी प्रोजेक्ट न केवल पर्यटन को बढ़ावा देगा बल्कि पर्यटन से जुड़ी व्यावसायिक गतिविधियों को भी बढ़ावा देगा। इनके अलावा वन्य जीवों, खेल, एडवेन्चर टूरिज्म, धार्मिक और ऐतिहासिक पर्यटन स्थलों को भी बढ़ावा देगा। एयर टैक्सी के माध्यम से प्रदेश के सुदूर इलाकों का भी भ्रमण किया जा सकेगा और इससे होटल व्यवसाय तथा पर्यटन क्षेत्र से जुड़ी व्यवसायिक गतिविधियों को भी बढ़ावा मिलेगा। 

सिवनी : छात्रा की मौत छेड़ने के कारण!


छात्रा की मौत छेड़ने के कारण!

(संतोष श्रीवास)

सिवनी (साई)। उत्कृष्ट और एमएलबी स्कूल के छूटने के समय छात्राओं को छेड़ने वाले असमाजिक तत्वों के हौसले कितने बढ़ गये हैं और छेड़छाड़ की आम लगने वाली ये घटनाएं विकराल रूप धारण कर किसी की मृत्यु तक का कारण बन सकती है ये बात ग्राम बलपुरा निवासी 16वर्षीय छात्रा जयकुमारी बघेल के साथ हुई घटना से साबित होती है।
ज्ञातव्य है कि गत 15मार्च को जबलपुर रोड स्थित एनटीपीसी के पास परीक्षा देने आयी एक स्कूली छात्रा कृष्णा बस सर्विस की बस से टकरा गयी थी। छात्रा को जब जिला चिकित्सालय ले जाया गया तो चिकित्सकों ने उसे मृत घोषित कर दिया था।
ऊपर से सामान्य प्रतीत होने वाला घटनाक्रम वास्तव मे सामान्य नहीं है। कृष्णा बस सर्विस की चपेट मे आकर मृत हुई 16वर्षीय छात्रा वास्तव मे छेड़छाड़ का शिकार हुई थी और वह उसे छेड़ने वाले युवक से बचकर ागने की कोशिश में बस की चपेट मे आयी थी। यह बात आज घटना की जानकारी रखने वालों के माध्यम से संवाद कुंज को पता चली है।
प्राप्त जानकारी के अनुसार गत दिनांक 15मार्च को दोपहर लगग 01बजे उक्त छात्रा अपनी सहेलियों के साथ जा रही थी ती एनटीपीसी और साँई मंदिर के बीच जो लकड़ी का टाल है उसके सामने मोटरसायकल मे सवार एक युवक आया और उसने छात्रा को रोककर न केवल उसे पकड़ लिया बल्कि अश्लील स्पर्श ी किया। लड़के की इस हरकत पर छात्रा ने उसे दो चप्पल जमा दी और अपनी सहेलियों के साथ आगे बढ़ गयी।
बताया गया है कि उक्त लड़का कुछ देर वहीं खड़ा रहा फिर बदला लेने के उद्देश्य से उसने अपनी मोटरसायकल झटके से किक मारकर चालू की और तेजी से लड़की के पास पहुँचा और उसका रास्ता पुनः रोककर उसे खींचकर दो झापड़ रसीद कर दिये। लड़का आगे ी कुछ करने की सोच रहा था ये ाँपकर छात्रा लड़के से बचने के लिये तेजी से ागी और जबलपुर की ओर से आ रही बस की चपेट मे आ गयी।
उक्त लड़की के बस की चपेट मे आ जाने के बाद वहाँ ीड़ इकट्ठा होने लगी ऐसे मे लड़के ने छात्रा की सहेलियों को धमकाया कि वो अपना मुँह बंद ही रखें और रफूचक्कर हो गया। मौके पर इकट्ठा हुए लोगों ने घायल छात्रा को जिला चिकित्सालय ले गये जहाँ चिकित्सकों ने उसे मृत घोषित कर दिया।
दोपहर को घटित हुए उक्त घटनाक्रम के बाद शाम को ठेकेदार रामप्रसाद डहेरिया जो कि घटनास्थल के पास ही रहते हैंजब अपने घर पहुँचे तो उन्हें उनके बेटेकर्मचारियों व सामने स्थित लकड़ी के टाल वाले ने पूरे घटनाक्रम की जानकारी दी जो कि घटनाक्रम के प्रत्यक्षदर्शी थे।
पूरा घटनाक्रम सुनने के बाद अगले दिन डहेरिया ने एसडीओपी सिद्धार्थ बहुगुणा को इसकी जानकारी दी। इसके बाद उन्होंने लड़की के परिजनों तक ये खबर पहुँचायी कि वे आकर उनसे मिल लें। अगले दिन लड़की के परिजन आकर रामप्रसाद डहेरिया से मिले तब जाकर छात्रा के परिजनों को सारे घटनाक्रम की जानकारी मिली। पूरी जानकारी मिलने के बाद छात्रा के परिजनों ने कहा कि कल उनकी लड़की का तीसरा है अतः रिपोर्ट ी अगर वे करेंगे तो तीसरे के बाद ही करेंगे।
ऐसा बताया जाता है कि छात्रा को छेड़ने वाला उक्त लड़के का नाम मनोज ट्ट है और वो एमएलबी स्कूल के पास से ही छात्रा को छेड़ता आ रहा था और छेड़ते-छेड़ते वो पावर ग्रिड के आगे तक पहुँच गया था और यहाँ पहुँचने के बाद जो घटना घटी उसके कारण छात्रा की मृत्यु हो गयी।यहाँ यह उल्लेखनीय है कि उत्कृष्ठ विद्यालय और एमएलबी से छूटने वाली लड़कियों के साथ छेड़खानी कि इस प्रकार की घटनाएँ बहुत आम है। अनेकों बार लोगों ने इसकी शिकायत पुलिस से की जाकर यह मांग ी की है कि स्कूल लगने और छूटने के समय वहाँ पर चीता फोर्स रहे किन्तु कुछ दिन तक ये व्यवस्था बनी रहती है और बाद मे व्यवस्था फिर लचर हो जाती है।

0ऐसा दोबारा न हो
मुझे यह जानकारी मिली है कि ये सामान्य घटनाक्रम नहीं हैमामला छेड़छाड़ का हैै इसीलिये घटना और ी दुःखद है। पुलिस को आरोपियों को गिरफ्तार कर उचित कार्यवाही करना चाहिये एवं व्यवस्था ऐसी बनानी चाहिये कि विष्य मे किसी के साथ ऐसा न हो। पुलिस को घटना के जो प्रत्यक्षदर्शियों हैं उनके  बयान ले उन्हें सुरक्षा ी देना चाहिये ताकि कोई उन्हें प्रावित न कर सके।
नरेश दिवाकरअध्यक्ष महाकौशल विकास प्राधिकरण

0घटना दबानी नहीं चाहियेदोषी को सजा हो
दिल्ली मे हुई घटना की प्रतिक्रियास्वरूप सिवनी मे ी काफी रैलियाँ और मोमबŸाी जुलूस निकाले गये। अी पूरा देश महिलाओं की सुरक्षा की बात कर रहा है। नये कानून बनाने तक की बात पर बहस जारी है। ऐसे मे सिवनी मे हुई इस घटना को दबाना नहीं चाहिये और घटना की निष्पक्ष जाँच कर यदि कोई दोषी है तो उसपर कड़ी कार्यवाही की जानी चाहिये।
आशुतोष वर्माइंका नेता

0नौजवानों को सड़कों पर आना होगा
जो घटना है वह दुर्ाग्यपूर्ण है और सारे तथ्यों की जाँच करके जो अपराधी है उसके विरूद्ध हत्या का प्रकरण दर्ज हो। जो दिल्ली में गैंगरेप हुआ है उसी कड़ी में सिवनी में कैंडिल मार्च निकला थालेकिन इस मनोवृत्ति को रोकने के लिए बड़े जनजागरण की आवश्यकता है। पिछले दौर में सिवनी में मजनुओं को रोकने के लिए पुलिस की ूमिका निष्क्रिय रही। दिल्ली मे हुई घटना के बाद काँलेज के छात्र-छात्राएं सड़कों पर उतरे थेयुवाओं ने आंदोलन किया था तब जाकर मामले ने तूल पकड़ा और सरकार को महिलाओं की सुरक्षा के लिये चिंतित होना पड़ा। सिवनी में महिलाओं के सतत् सुरक्षा के लिए आवश्यक कदम उठाना अब बहुत जरूरी हो गया है।
नरेंद्र अग्रवालव्यवसायीसमाजसेवी  

मुजफ्फरनगर : बैंक में घुसे अज्ञात चोर


बैंक में घुसे अज्ञात चोर

(सचिन धीमान)

मुजफ्फरनगर (साई)। बैंक की खिड़की तोड़कर चोरांे ने बैंक मे रखे कम्प्यूटर व सीसी कैमरा चोरी करने के साथ साथ एटीएम मशीन को भी तोड़ डाला। घटना की सूचना मिलते ही पुलिस अधिकारी मौके पर पहंुचे। चोरों का निषाना बना बैंक बड़ी वारदात से बच गया।
सरकुलर रोड स्थित केनरा बैंक को निशाना बनाते हुए देर रात बैंक के पीछे वाली खिड़की फाड़कर अज्ञात चोर बैंक परिसर मंे घुस गए। बैंक मे घुसने के बाद सम्भवतः चोरो ने सबसे पहले बैंक परिसर मे लगे सीसी कैमरे के तार काटकर वीडियो फुटेज छिपाने का प्रयास किया। इसके बाद उन्होने बैंक के स्ट्रांग रूम में भी छेड़छाड़ करने का प्रयास किया लेकिन वे कामयाब नहीं हो सके। इसके पश्चात चोरो ने बैंक मे रखे कम्पयूटर चोरी कर लिए। चोरों ने बैंक में लगी एटीएम मशीन तोड़कर लाखों रूपये चोरी करने का प्रयास किया लेकिन वे अपने मकसद में नहीं हो सके। सोमवार सुबह जब बैंक का सफाईकर्मी बैंक शाखा खोलने के लिए पहुंचा तो बैंक के अंदर का नजारा देखकर उसके होश फाख्ता हो गए। घबराए सफाईकर्मी ने घटना की सूचना बैंक मैनेजर पीके गुप्ता को दी। सूचना मिलते ही बैंक मैनेजर व अन्य स्टाफ सहित एसपी सिटी राजकमल यादव, एसओजी टीम तथा सीओ सिटी संजीव वाजपेयी तथा एसओ सिविल लाईन कमल यादव मौके पर पहुंच गए। मौके पर पहंुचे पुलिस अधिकारियो ने घटना की जानकारी करने के साथ फिंगर प्रिन्ट व डॉग स्कवायड भी बैंक पर पहुंच गया। पुलिस ने मामले की छानबीन कर जांच शुरू कर दी। 

मुजफ्फरनगर : हिन्दू कार्यकर्ताओं के खिलाफ दर्ज मुकदमे वापिस लेने की मांग


हिन्दू कार्यकर्ताओं के खिलाफ दर्ज मुकदमे वापिस लेने की मांग

(ब्यूरो कार्यालय)

मुजफ्फरनगर (साई)। गौवंश पकड़वाने के विरोध में हिंदू कार्यकर्ताआंे के खिलाफ हुए मुकदमों की वापसी के लिए भारतीय जनता पार्टी के प्रतिनिधिमंडल ने एसएसपी मंजिल सैनी से मुलाकात की।
भाजपा नगर अध्यक्ष श्रीमोहन तायल ने बताया कि कल हिंदू संगठनों के लोगों ने चरथावल थाना क्षेत्र के गांव बिरालसी में वध हेतु ले जाया जा रहा गौवंश बरामद किया था। जिससे खिन्न पुलिसकर्मियों ने उल्टे हिंदू कार्यकर्ताओं पर ही लाठीचार्ज करते हुए उन्हें घायल कर दिया तथा पता चला है कि पुलिस हिंदू कार्यकर्ताओं पर मुकदमा दर्ज करने की तैयारी में है। इस मामले में सोमवार को भाजपा जिलाध्यक्ष सतपाल पाल, नगर अध्यक्ष श्रीमोहन तायल, डा. देशबंधु तोमर, युवा नेता शरद कपूर, संजीव बालियान, नितिन मलिक, रविंद्र ठेकेदार, शिवकुमार, भूषण पाल, शिवकुमार, मनोज शर्मा सहित अनेक भाजपाई एसएसपी मंजिल सैनी से मिले तथा उन्होंने इस संबंध में आवश्यक कार्यवाही करने के साथ-साथ हिंदू कार्यकर्ताओं पर हुए मुकदमों को वापस लिये जाने की मांग की। एसएसपी ने भाजपाईयों को आवश्यक कार्यवाही का आश्वासन दिया।