मंगलवार, 19 जून 2012

कसाईखाना बन गया कोसीकलॉ


कसाईखाना बन गया कोसीकलॉ

(विनीत कुमार सिंह)

१ जून २०१२, दिन शुक्रवार, तिथि निर्जला एकादशी, समय दोपहर २ बजे। मुस्लिम समुदाय के जुमे की नमाज का समय। कोसीकलां में जिंदगी अपनी गति से बढ़ रही थी। दोपहर की नमाज समाप्त होने के पश्चात् सब्जी मंडी में एक व्यापारी देवा ने एक ग्राहक को सामान दे कर मस्जिद के नीचे रखे ड्रम के पानी से हाथ धो लिया। उसी समय मस्जिद से नीचे उतर रहे खालिद शेख ने व्यापारी देवा को ऐसा करते देख लिया और उसे फटकार दिया। देवा ने कहा कि अगर आपका पानी ख़राब हो गया तो मैं क्षमा मांगता हूँ और ड्रम को दोबारा भरवा देता हूँ। देवा ने दोबारा ड्रम को पानी से भरवा दिया। दोबारा पानी भरवा देने के बाद भी खालिद शेख ने देवा से मारपीट चालू कर दिया। खालिद के ऐसा करने का अन्य हिन्दू व्यापारियों ने विरोध किया। लेकिन खालिद ने मस्जिद से अन्य मुस्लिमों को बुला लिया और हिन्दुओं के साथ बर्बरता पूर्वक मारपीट करता हुआ मस्जिद में वापस चला गया और उसके बाद मस्जिद में उपस्थित मुस्लिमो ने हिन्दुओं पर मस्जिद के अन्दर से ही पथराव चालू कर दिया।
इतना ही नहीं खालिद ने कोसी नगर के मुस्लिम बहुल इलाके ष्निकासेष् के मुस्लिमो को ये सूचना दे दी कि हमारी मस्जिद को हिन्दुओं ने घेर लिया है और हमारे ऊपर हमला कर रहे हैं। ज्ञात हो की खालिद शेख छह महीना भारत में रहता है और ६ महीना सउदी अरब में रहता है। वह सउदी अरब से कोसीकलां और उसके आसपास के क्षेत्रों के सभी मस्जिदों के लिए हवाला के जरिये धन मुहैया करता है।
कोसीकलां का पाकिस्तान कहे जाने वाले मुस्लिम बहुल क्षेत्र ष्निकासेष् से सैकड़ों की संख्या में उग्र मुसलमानों की भीड़ अपना आतंकवादी रूप दिखाते हुए अपने विभिन्न प्रकार के घातक  हथियारों जैसे बम, पिस्तौल, पेट्रोल बम इत्यादि से लैस हो कर हिन्दुओं पर हमला करते हुए उक्त मस्जिद की तरफ बढ़ने लगे। लेकिन सब्जी मंडी मस्जिद और निकासे के बीच स्थित हिन्दू बहुल क्षेत्र बल्देवगंज के हिन्दुओं ने निकासे के मुस्लिमो को मुहतोड़ जवाब दिया। इस पर गुस्साए मुसलमानों ने तबाही का जो मंजर प्रस्तुत किया वो दिल दहला देनेवाला था।
निकासे सीमा पर स्थित पंजाब नेशनल बैंक में घुसकर मुसलमानों ने वहां की संपत्ति को भारी नुकसान पहुँचाया और लूटपाट का प्रयास भी किया। इसका पूरा विवरण बैंक के सीसीटीवी कैमरे में कैद है जिसे अगर प्रदेश सरकार चाहे तो देख सकती है। लूटपाट में असफल होने के पश्चात मुसलमानों ने बैंक को आग के हवाले कर दिया। बैंक के बाहर मुस्लिम दंगाई और बैंक के अन्दर आग। इसके बावजूद भी बैंक के अन्दर उपस्थित स्टाफ, कर्मचारियों और ग्राहकों ने इधर-उधर शरण ले कर जैसे-तैसे अपनी जान बचाई। मुसलमानों का गुस्सा और आतंकवादी गतिविधियाँ यही नहीं थमींद्य मुसलमानों ने निकासे सीमा पर स्थित लगभग सभी हिन्दू घरों में घुस कर ना सिर्फ तोड़-फोड़ और लूटपाट करी बल्कि वहां मौजूद  हिन्दू माताओं और बहनों से भी बड़ी ही अश्लीलता पूर्ण बद्तामिजियाँ कींद्य दंगाइयों ने हिन्दुओं के घरों के निचे रखी उनकी कारों को आग के हवाले कर दिया। जिसके कारण कई हिन्दुओं के घर जल कर खाक हो गएद्य हिन्दुओं में बल्देव गंज और निकासे सीमा पर स्थित आर०के० गर्ग, गुड्डू हतानियाँ, किशन पंडित और प्रतिक जैन इत्यादि हिन्दू भाइयों के घर, वाहन, दुकान और गोदाम आदि की भारी हानी हुईद्य इनकी माता बहनों के साथ घर में घुस कर अमानवीय रूप से बदतमीजी की गईद्य मुस्लिम दंगाइयों ने आने-जाने वाले हिन्दू राहगीरों के करीब २ दर्जन वाहनों को आग के हवाले कर दिया और इनके साथ बड़ी बेरहमी से मारपीट कर बुरी तरह घायल कर दियाद्य मुस्लिम दंगाइयों की संख्या अचानक से इतनी बढ़ गई की इनका सामना करने का साहस किसी में नहीं थाद्य यहाँ मुस्लिम दंगाई बल्देव गंज के युवाओं पर लगातार पत्थर और बम इत्यादि से हमले कर रहे थेद्य हिन्दुओं के पास मुसलमानों के सामान हथियार नहीं थे क्यूंकि प्रदेश सरकार ने अपने चुनाव पूर्व वादे के हिसाब से मुस्लिम बस्तियों में कैम्प लगा कर 1 दिन में ही करीब 200 पिस्तौल के लाइसेंस बांटे थे और ये पहला वादा था जो अखिलेश सिंह यादव की सपा सरकार ने पूरा किया था फिर भी उपलब्ध हथियारों से बल्देव गंज के हिन्दू युवाओं ने इन मुस्लिम आतताइयों का सामना कर इनके हमलों का मुहतोड़ जवाब दियाद्य मुसलमानों के आक्रोशित और आतंकी जत्थे ने पूरी सब्जी मंडी, अनाज मंडी और अनेक बाजारों इत्यादि को जला कर राख कर दिया।
इस दंगे की सूचना मिलते ही पुलिस प्रशासन घटना स्थलों पर पहुँच तो गया पर एक निरीह मूकदर्शक बन खड़ा रहा बस। मुसलमानों के इस पथराव में कई हिन्दू भाई घायल हो गए। मुस्लमान जब बम और गोलियां चला रहे थे तब ये नहीं देख रहे थे की सामने वाला हिन्दू उनका परिचित है या मिलने वाला व्यक्ति हैद्य मुसलमान केवल यह सोच कर हमला कर रहे थे की सामने वाला हिन्दू है और इनको जान से मार डालोद्य देखते ही देखते एक घंटे के अंतराल में नगर की सभी मस्जिदों से हिन्दुओं पर पथराव और बम इत्यादि फेंके जाने लगे। ऐसा लग रहा था कि ये हिन्दुओं पर हमला पूर्व नियोजित था और मानो हिन्दुओं पर इस हमले की तैयारी बहुत समय से हो रही थी। ये ठीक वैसे ही था जैसे सुबह ८ बजे गोधरा में २००२ में हजारो लीटर पेट्रोल अचानक से आ गया था जबकि इतने सुबह गुजरात में पेट्रोल पम्प नहीं खुलते हैं। इसके अलावा उन आतताई मुसलमानों का जत्था जहाँ कही से भी निकलता था वहां की हिन्दुओं की चीजों को आग लगाते हुए निकलता था। यह देख नगर के हिन्दू भाई भयभीत हो गए और उन्होंने ने आस पास में ग्रामीण इलाके में रह रहे अपने जानने वालों को फ़ोन पर सुचना दी इन आतंकी मुसलमानों के कृत्य के बारे में की कैसे मुस्लमान विध्वंश और आगजनी कर रहे हैं नगर मेंद्य जिसे सुन ग्रामीण इलाके से करीब १०-१५ हजार लोग अपने हाथों में बन्दुक और अन्य हथियार ले कर थोड़ी देर में कोसीकलां पहुँच इन आतंकी मुसलमानों को खदेड़ाद्य
इस बीच मुसलमानों ने हिन्दुओं के सैनी मोहल्ले पर हमला बोल दिया। मुसलमानों ने बमबारी से वहां की अनेक महिलाओं को बुरी तरह घायल कर दिया। अनेक मकानों को तहस-नहस कर दिया और उनके घरों को लूटाद्य अश्लीलता का नंगा नाच वहां भी दिखाया मुसलमानों नेद्य इसका विरोध करने वाले माली समाज के एक युवक सोनू को गोलियों से छलनी कर दिया इन मुसलमानों ने। सोनू की मौके पर ही ह्रदय विदारक चीखों के साथ मृत्यु हो गई। उन दंगाइयों के जाने के बाद पुलिस भी पर्याप्त बल के साथ वहां पहुँच गई। इसके साथ ही आर०आर०एफ़० और आर०ए०एफ़ की अनेक गाड़ियाँ कोसी में हो रहे दंगे को शांत करने के लिए पहुँच गईं। इस दौरान हमारे ग्रामीण भाइयों ने मुस्लिमो के करीब १ दर्जन दुकानों को आग के हवाले कर दियाद्य करीब सायं ८ बजे पुलिस ने आकर पुरे नगर में कर्फ्यू लगा दिया। लेकिन कर्फ्यू लगने के बाद भी मुस्लिमो का कहर बंद नहीं हुआद्य अर्धरात्रि तक उनके इलाके से गोलियों की आवाजें सुने देती रहीं।
इसके बाद 1 जून को दंगे वाले रात् को करीब ३ बजे कोसीकलां के मस्जिद से एक ऐलान सुनाई दिया की ष्सारे मुस्लिम तैयार रहेंद्य अल्लाह तुम्हारे साथ हैद्य ये तो बस एक शुरुवात भर है इंशा अल्लाह इस बार हम सभी मुसलमान मिल कर इन हिन्दुओं का सफाया कर देंगेद्य यह बड़े शबाब का काम है जो की अल्लाह ने तुमको दिया हैद्य इन काफिरों को मरोगे तो अल्लाह तुम्हे जन्नत बख्सेगाद्यष् यह ऐलान सुन सभी हिन्दू सहम गए और रात भर अपने छतों पर टहलते रहेद्य
खौफ के साये में रात गुजारने के बाद दुसरे दिन नगर की हालत काफी बिगड़ी हुई दिखाई दे रही थीद्य हर तरफ मृत्यु का सन्नाटा पसरा हुआ थाद्य चारो तरफ बस आगजनी और तबाही का ही मंजर था। मुस्लिम दंगाइयों ने चुन चुन कर ऐसे गोदामों में आग लगाई थी जो हिन्दुओं की थीं और करोडो का सामान रखा हुआ था उसमेद्य यदि पिछली शाम को ग्रामीण लोग नहीं आये होते नगरीय लोगो की रक्षा हेतु तो शायद नगरीय क्षेत्र हिन्दू विहीन हो चूका होताद्य ग्रामीण बंधुओं का नगरिय लोग दिल से आभार प्रकट करते हैं।
मथुरा जिले के एस०पी०, एस०एस०पी०, आइ०जी०, डी०आइ०जी० और डी०एम० ही नहीं बल्कि आगरा और अलीगढ के सभी हेड कांस्टेबल, एस०ओ०, एस०डी०एम०, पी०ए०सी०, आर०ए०एफ़, आर०आर०एफ़० ने पुरे कोसीकलां को अपने कब्जे में ले लियाद्य दंगे के दौरान ड्यूटी पर तैनात सभी प्रशासनिक अधिकारीयों के तबादले कर दिए गए और जो लोग उनकी जगह पर आये वो आज़म खान (शहरी विकास मंत्री), इमाम बुखारी (शाही इमाम दिल्ली जामा मस्जिद) और मौलाना युसूफ मदनी के खास अधिकारी थेद्य अब इन गुलाम अधिकारीयों के नेतृत्व में दंगे की जाँच शुरू होने लगीद्य प्रशासन पर दबाव इस कदर था की ये अधिकारी हिन्दुओं के घरों पर ही छापा मारने लगेद्य मुसलमानों के मात्र कह भर देने से ही हिन्दुओं की धरपकड़ शुरू हो गईद्य दंगे वाले दिन चाहे कोई हिन्दू कोसीकलां में हो या ना हो उन्हें आरोपी दिखाया जाने लगाद्य जिन हिन्दुओं का नुकसान हुआ वो भी पुलिस रिकॉर्ड में दंगाई दिखाए गएद्य अगले माह होने वाले नगर पालिका चुनाव में खड़े होने वाले सभी हिन्दू प्रत्याशियों को दंगाई दिखा कर उनके खिलाफ एफ़०आइ०आर तैयार कर दिया गयाद्य आस-पास के देहात के सभी हिन्दू ग्राम प्रधानों एवं दबंग हिन्दुओं के खिलाफ भी एफ़०आइ०आर दर्ज की गईद्य
यह प्रथम दृष्टया ही प्रशासन और सरकार की साजिश लग रही थी कि वह हिन्दुओं की ताकत कमजोर करके उनका हाथ बांध देना चाहती थी। नई महिला एसएसपी एम पदमजा, डीएम अलोक तिवारी और आइजी मियां जावेद अख्तर ये तीनो पुलिस अधिकारी हिन्दू विरोधी और मुस्लिम हितैषी हैं। हिन्दुओं के प्रति इनका व्यवहार सौतेला रहा है। अब तक हिन्दुओं में से १४ गिरफ्तारियां हो चुकी हैं और गिरफ्तारियां आज भी बदस्तूर जारी हैं जो की रात के अँधेरे में 3 बजे तक में की जा रही हैं वो भी जबरन हिन्दू घरों में घुस कर। अभी तक में २०० हिन्दुओं के खिलाफ एफ़आइआर दर्ज हो चुका है। करीब २००० अज्ञात हिन्दुओं को दंगाई दिखा उनके खिलाफ रिपोर्ट दर्ज किया गया हैद्य दिखने के लिए आज़म खान (शहरी विकास मंत्री) के आगमन पर २-४ मुस्लिमों को पकड़ कर उनको राजसी ठाट-बाट के साथ जेल में रखा गया है ताकि ज्यादा हो-हल्ला ना हो।
गौरतलब हो की १ जून दंगे वाले दिन जब हिन्दू बंधुओं के घर और दुकाने जलाई जा रही थीं और हिन्दू महिलाओं के साथ अभद्र और नीच हरकते की जा रही थी और मुस्लिम नुकसान पहुचाते हुए आगे बढ़ रहे थे तब हिन्दुओं ने थाने पर खड़े आइजी से मदद की गुहार लगाई कि सब जल रहा है और जलते हुए घरों में हमारी महिलाएं हैं लेकिन आईजी के कानो को जैसे कुछ सुनाई नहीं दे रहा था और ना ही उसकी आँखों को कुछ दिखाई दे रहा था। पर जब ग्रामीण हिन्दू भाई अपने नगरीय हिन्दू भाइयों की मदद के लिए आगे बढे तब ग्रामीण हिन्दू भाइयों पर इसी आइजी ने लाठी चार्ज कर उनको तितर बितर करने की कोशिश की। ऐसा ये आइजी इसलिए कर रहा था क्योंकि ये खुद भी मुस्लिम है और मुस्लिमों को मौका दे रहा था की तुम्हारे पास मौका है और मैं खड़ा हूँ तुम्हारी रक्षा को जितना नुकसान पहुँचा सकते हो इन हिन्दुओं को उतना नुकसान जल्दी से पहुँचा लो।
दंगे के ४-५ दिन बाद डीएम से शांति बहाली के लिए कोसीकलां के व्यापारियों ने गुहार लगाई तो डीएम का कहना था कि, ष्मेरा काम है नगर में शांति व्यवस्था बनाये रखना। यह मेरा काम नहीं है कि आप हिन्दू और मुसलमान आपस में राजीनामा करते हैं या नहीं। वह आप लोगों का काम है। आप लोग बाजार खोलो या ना खोलो इससे मेरा कोई सरोकार नहीं है। तुम्हारे ऐसा करने से मेरी कोई तनख्वाह नहीं कट रही है। अगर मुझे कोई उपद्रव करते मिल गया तो मैं पहले उसे समझाऊंगा। यदि वो नहीं माना तो उसे डंडों से समझाऊंगा और अगर तब भी नहीं समझा तो उसको मैं गोली से उड़ा दूंगा।ष्
दंगे के तीसरे दिन से दिल्ली के जामा मस्जिद की तरफ से ट्रक भर कर राशन, सब्जियां, फल इत्यादि आने शुरू हो गए और गौर करने वाली बात है कि प्रशासन ने इसके लिए कोई रोक-टोक नहीं की। यहाँ तक कि इन ट्रकों को जांचने का कार्य भी नहीं किया गया, बल्कि इसके इतर प्रशासन ने मुस्लिम बस्तियों में टैंकर भरकर पानी भिजवाना शुरू कर दिया और हिन्दू मोहल्लों में पानी कि सप्प्लाई पर रोक लगा दिया गया। हिन्दुओं में इस बात का काफी रोष व्याप्त हो गया क्यूंकि हिन्दुओं के घरों में पानी कि किल्लत और एक वर्ग विशेष को इतनी सुविधा वो भी प्रशासन के तरफ से।
हिन्दुओं के तरफ से हिन्दुओं और मुसलमानों में सुलह के लिए आज तक ४ कोशिशें कि जा चुकी हैंद्य लेकिन अफ़सोस कि तीनो बार मुसलमानों ने इन राजीनामे से मना कर दियाद्य यही नहीं पूरा मेवात क्षेत्र जहाँ करीब १८ लाख मेव-मुस्लिम रहते हैं उन्होंने मुस्लिमो कि हर तरह कि सहायता करने का खुल्ला ऐलान कर दियाद्य इसमें हरियाणा के नूंह, पुन्हाना आदि मेवात क्षेत्र काफी सक्रिय हैं।
वहीँ चौथे दौर कि संधि प्रयास में कोसीकलां के कांग्रेस समर्थित आर एल डी के सेकुलर विधायक ठाकुर तेजपाल सिंह ने एक बैठक कि जिसका मुख्या मुद्दा था शांति बहाल करना पर इन्होने जो किया वो हिंदुत्व को शर्मसार करने वाला थाद्य ये विधायक महोदय मुसलमानों के इतने अत्याचार के बावजूद हिन्दुओं को ही भाई चारे का पाठ पढ़ा रहे थे। शायद इन विधायक महोदय को अपनी कुर्सी बचाने की ज्यादा चिंता थीद्य पर कोसीकलां के हमारे हिन्दू भाइयों ने इन्हें टका सा जवाब दे दिया की हमें नहीं चाहिए शांति और हम अब अपने तरीके से निपट लेंगे इन अधर्मी मुसलमानों से आप विधायक महोदय अपने मुस्लमान भाइयों के साथ मस्ती करो।
यह सर्वविदित है कि उत्तर प्रदेश कि सत्तारूढ़ समाजवादी पार्टी सरकार जिसके मुखिया मुलायम सिंह यादव हैं वह हिन्दू विरोधी और मुसलमान परस्त पार्टी हैद्य उसने इस बार उत्तर प्रदेश में अपनी सरकार बनाने के चक्कर में मुसलमानों को अपने मंत्रिमंडल में बड़े तौर पर तरजीह दी है। आज़म खान जो कि शहरी विकास मंत्री है वो कट्टरवादी मुस्लिम है, वह कोसीकलां आया और उसने केवल मुसलमानों के हित कि ही बातें करींद्य कोसीकलां के मुसलमानों को उसने न्याय दिलाने और प्रशासन से सहायता दिलाने का पूरा भरोसा दिया। आज़म खान ने हिन्दुओं को भी सब कुछ ठीक करने का वादा किया पर उसके चेहरे से साफ़ झलक रहा था कि जो भी वादा आज़म खान कर रहा था हिन्दुओं से वो केवल उपरी मन से था। दरअसल आज़म खान ने पर्दे के पीछे मुसलमानों कि पीठ थपथपाई और उनको अभयदान दिया।
आज़म खान के जाने के बाद उसी रात कोसीकलां के रिहाइशी इलाके आर्यनगर के एक बनिया व्यावसायी के घर और उसके निचे बनी दुकान को किसी मुसलमान ने जला दिया जिस वजह से उस व्यावसायी को लाखों का नुकसान हुआ। सुबह पुलिस आई और जबरदस्ती उस पीड़ित व्यावसायी परिवार से लिखवा कर ले गई कि ये आग शार्ट-सर्किट के चलते लगी थीद्य इस घटना कि दूसरी रात को फिर किसी मुसलमान ने एक और बनिया व्यावसायी के बाईपास स्थित दोना-पत्तल, मुन्जवान, रस्सी और झाड़ू के गोदाम को आग के हवाले कर दिया। इस बार भी पुलिस सुबह ही आई और पुलिस ने उस व्यापारी पर प्रशासनिक दबाव देकर लिखवा लिया कि ये आग भी शार्ट-सर्किट के चलते लगी है। जबकि सत्यता यह थी कि इस गोदाम में ना तो कोई बिजली के तार कि फिटिंग थी और ना ही कोई बिजली का कनेक्सन थाद्य नगर के हिन्दुओं में रोष चरम पर है पर परेशानी ये है कि अगर विरोध प्रदर्शन किया तो जैसे प्रशासन बराबर धमकी दे रहा है कि हिन्दुओं पर रासुका लगा जेल में डाल दिया जायेगाद्य
मुस्लिमों के जुल्म कि इन्तेहाँ तब हो गई जब उन्होंने अपने इलाके में कर्फ्यू लगा होने के बावजूद हमारी गौमाता कि हत्या कर कूड़े के ढेर में फेंक दियाद्य यह एक करारा तमाचा था हम हिन्दुओं के मुँह पर और चेतावनी थी यह मुसलमानों कि तरफ से कि देख लो कितना भी कर्फ्यू हो पर हम तो ऐसा ही करेंगेद्य और तुम हिन्दू अगर रोक सकते हो तो रोक कर दिखा दो। इस बार भी पुलिस बहुत देर से पहुंची और बिना छानबीन किये कि ये गाय आई कहाँ से और किसने इसे मारा पुलिस ने गाय का पोस्टमार्टम करा गौमाता को धरती में गडवा दिया। और इतना पर ही नहीं रुके पुलिस वाले उन्होंने वहां उपस्थित पत्रकारों को ये धमकी दी कि ये किसी भी न्यूज़ में नहीं छापना चाहिए कि मुसलमानों के इलाके में गाय का शव मिला हैद्य
कोसीकलां में भाजपा के राजनाथ सिंह जी भी आयेद्य उनको कोसीकलां में प्रवेश नहीं दिया गयाद्य भारी मात्र में पुलिस बल आ गया राजनाथ सिंह जी को रोकने के लिएद्य कोसीकलां के बाईपास पर ही स्थित एक ढाबे पर रुक कर नगर के पीड़ितों का दर्द सुन कर वो भी अपनी राजनैतिक रोटियां सेंकते हुए दिखाई दिएद्य राजनाथ सिंह जी ने कहा कि, ष्मैं अखिलेश यादव से बात करूँगा कि वो हिन्दुओं के प्रति इतने रूखे क्यों हैं? यह एक तरफ़ा कार्यवाही क्यों कर रहे हैं वो? पूरी भाजपा आपके साथ हैद्य हम जल्दी ही दिल्ली में हिन्दुओं के ऊपर हो रहे इस अत्याचार के विरोध में धरना प्रदर्शन करेंगेद्य हम कोसीकलां वासियों कि आवाज ऊपर तक पहुचाएंगेद्य आप लोग घबराये नहींद्यष् और भी कई बाते इन्होने बोलीं पर कोसीकलां वाशियों को जो राजनाथ सिंह जी और भाजपा से जो आशा थी वो धूमिल होती प्रतीत हुईंद्य
१३ जून को मुसलमान बस्तियों से यह सूचना आई कि आज हिन्दुओं कि तेरहवीं तो हमने हिन्दुओं कि गौमाता कि हत्या करके कर दी अब इनको दिखाना है कि इनका चालीसवां कैसा होता हैद्य इन मुट्ठी भर मुसलमानों के इतने उछालने का कारन एक ही है कि हम हिन्दुओं का हाथ इस प्रशासन ने काट दिया है और मुसलमानों ने अपनी ताकत इन तेरह दिनों में अच्छे से बढ़ा लियाद्य क्यूंकि जिन ट्रको में उनके लिए दिल्ली के जामा मस्जिद से खाने पिने का सामान आ रहा है और यहाँ का प्रशासन बिना किसी रोकटोक के उसे मुस्लिम क्षेत्र तक जाने दे रहा है उन ट्रकों में खाने-पिने के सामानों में छुपा कर घटक और स्वचालित हथियार भेजे जा रहे हैंद्य (ज्ञात हो कि इमाम बनाने के समय और उसके पहले से दिल्ली जामा मस्जिद के मौजूदा इमाम बुखारी बोलते आये हैं कि मुसलमानों कि एक सशत्र सेना बनाने कि और यहाँ तक कि बुखारी ने मुस्लिम लीग के तौर पर अपनी एक मुस्लिम पार्टी बनाने के लिए साल २००० में कश्मीर के अलगाववादी नेता गिलानी से भी मुलाकात करी थी)द्य और इन खाना पीना लादे ट्रकों का प्रवेश आजभी बदस्तूर जारी है कोसीकलां के मुस्लिम बहुल इलाके मेंद्य अब इतने ही दिनों में मुसलमान हिन्दुवों ओ खुली चेतावनी दे रहा है कि अब चाहे पूरा देहात आ जाये हम हिन्दुओं का मुकाबला कम से कम पुरे दो महीने तक मुकाबला कर सकते हैंद्य आखिर २ महीने तक लगातार हिन्दुओं से मुकाबला करने कि बात ये मुसलमान अचानक से कैसे करने लगेद्य
१६ जून को पूर्व निश्चित समझौता सभा में मुसलमान नहीं आये। उनका कहना था कि बाज़ार खोलना हिन्दुओं की मज़बूरी है उनकी नहीं। हमको तो खाना अल्लाह अपने घर (मस्जिदों) से दे रहा हैद्य तुम हिन्दुओं की गर्ज है तभी तो हम मुस्लिमों से राजीनामा करना चाहते हो।
आज मुसलमान हिन्दुओं के सिर पर नाच रहे हैंद्य हम हिन्दू यहाँ अपने ही श्री कृष्ण की नगरी में ऐसे रह रहे हैं जैसे दांतों के बीच हमारी जिह्वा। हमारे इस हँसते खेलते वातावरण और घरौंदों को इन मुसलमानों ने ऐसा बना दिया है जैसे कि हम किसी खंडहर में रह रहे होंद्य अपने ही नगर और मोहल्ले में हमें ऐसे कैद किया गया है जैसे कि हम जेल में रह रहे होंद्य सरकार और प्रशासन दोनों ही हम हिन्दुओं के खिलाफ ही कार्यवाही करने को व्याकुल और अति-आतुर हैंद्य सरकारी और प्रशासनिक दबाव के चलते कोसीकलां के इस भीषण महासंग्राम और खुलेआम जलते घरौंदों को किसी भी टी०वि० चौनल पर नहीं दिखाया जा रहा है और ना ही किसी समाचार पत्र में इसको कोई स्थान मिल रहा हैद्य यही नहीं किसी भी हिंदूवादी नेता को नगर में प्रवेश करने से रोका जा रहा है और उनको प्रवेश नहीं करने दिया जा रहा है।
(विनीत कुमार सिंह हिन्दू विचारधारा के समर्थक ब्लागर हैं. मथुरा में हुए दंगे पर उन्होंने विस्तार से रिपोर्टिंग किया है.)

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