बुधवार, 18 अप्रैल 2012

हक्कानी नेटवर्क पर अमरीकी नजर


हक्कानी नेटवर्क पर अमरीकी नजर

(अंकिता रायजादा)

वाशिंग्टन (साई)। अमेरिका ने कहा है कि अल कायदा से जुड़े हक्कानी नेटवर्क पर अंकुश लगाने के लिए वह इसलामाबाद पर लगातार दबाव बनाना जारी रखेगा। उधर अफगानिस्तान ने काबुल हमलों के पीछे पाकिस्तान स्थित संगठन को जिम्मेदार ठहराया है।
अफगानिस्तान की राजधानी में हुए हमलों में हक्कानी नेटवर्क का हाथ होने के संकेत मिलने की घोषणा करते हुए अमेरिकी विदेश मंत्री हिलेरी क्लिंटन ने कहा गत अक्तूबर में इसलामाबाद यात्रा के दौरान उन्होंने हक्कानी नेटवर्क पर अंकुश लगाने के लिए पाकिस्तान पर दबाव बनाया था। फाक्स न्यूज की रिपोर्ट के मुताबिक ब्राजीलिया में पत्रकारों से क्लिंटन ने कहा, ‘मैं इस मसले पर इसलामाबाद पर और दबाव डालूंगी।
उन्होंने पाकिस्तान आधारित इस संगठन को पक्का शत्रुभी कहा है। इससे पहले अफगानिस्तान के गृह मंत्री बिसमिल्लाह मोहम्मदी ने काबुल में कहा था कि हमले के दौरान एक आतंकवादी को गिरफ्तार कर लिया गया है और हमले के पीछे अल कायदा से जुड़े हक्कानी नेटवर्क का हाथ है।
विदेश मंत्री क्लिंटन ने कहा कि उन्होंने पाकिस्तान में अपनी समकक्ष हिना रब्बानी खार से अफगानिस्तान में शांति और स्थिरता कायम रखने के लिए काम करने को कहा है तथा काबुल के ताजा हमलों पर भी बात की है।
गौरतलब है कि क्लिंटन और खार के बीच टेलीफोन पर हुई वार्ता के एक दिन बाद ही पाकिस्तान के शीर्ष राजनेताओं व सैन्य प्रतिनिधियों के बीच बैठक होनी है। उम्मीद है कि इस बैठक में अफगानिस्तान में नाटो सैन्य आपूर्ति के मसले पर कोई अंतिम फैसला आ सकता है।
कैबिनेट की रक्षा समिति की बैठक की अध्यक्षता प्रधानमंत्री यूसुफ रजा गिलानी करेंगे। इसमें कुछ प्रमुख मंत्रियों, स्टाफ कमेटी के संयुक्त प्रमुख, सेना प्रमुख कयानी और एयरफोर्स व नेवी के प्रमुख भी मौजूद होंगे। एक दिन पहले ही संसद ने सर्वसम्मति से अमेरिका के साथ संबंधों को दोबारा मजबूत करने का प्रस्ताव पारित किया है।

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