प्रभात झा को है प्रदेश की सबसे अधिक चिन्ता
एमपी के 11 राज्य सभा सदस्यों में सबसे अधिक प्रश्न पूछे प्रभात ने
मेघराज जैन और विजय लक्ष्मी के हिसाब से सब कुछ ठीक ठाक
दस सालों में विक्रम वर्मा ने नहीं पूछा एक भी प्रश्न
(लिमटी खरे)
नई दिल्ली। मध्य प्रदेश के 11 राज्य सभा सदस्यों में से प्रभात झा ही अकेले एसे संसद सदस्य साबित हुए हैं जिन्होंने मध्य प्रदेश में भारतीय जनता पार्टी की बागडोर संभालने के साथ ही साथ प्रदेश के साथ पूरा न्याय किया है। राज्य सभा में प्रदेश के संसद सदस्यों के रिकार्ड को खंगालने पर पता चलता है कि उन्होंने ही सबसे अधिक 557 प्रश्न राज्य सभा में पूछे हैं। भाजपा के मेघराज जैन और कांग्रेस की डॉ.विजय लक्ष्मी साधो सदन में निष्क्रिय ही साबित हुई हैं।
प्रभात झा ने वर्तमान सत्र में एक अगस्त से पांच अगस्त के बीच 17 प्रश्न पूछे हैं। उधर अनिल माधव दुबे ने 25 नवंबर 2009 से अब तक 139 एवं इस सत्र में पांच, नारायण सिंह ने 20 अगस्त 2004 से अब तक कुल 14 प्रश्न पूछे हैं नारायण सिंह ने 26 अगस्त 2010 के बाद एक भी प्रश्न पूछने की जहमत नहीं उठाई है।
पत्रकार चंदन मित्रा ने 22 अगस्त 2005 से अब तक कुल 12 प्रश्न पूछे हैं। इन्होंने भी 29 अप्रेल 2008 के बाद एक भी प्रश्न नहीं पूछा है। रघुनंदन शर्मा ने 17 अक्टूबर 2008 से अब तक 182 एवं वर्तमान सत्र में महज दो तो श्रीमति माया सिंह ने 24 जुलाई 2002 से अब तक 780 एवं इस सत्र में नौ प्रश्न पूछे हैं। कप्तान सिंह सोनींगी ने 19 नवंबर 2009 के बाद 212 प्रश्न पूछे हैं उनका अंतिम प्रश्न 16 मार्च 2011 को पूछा गया था।
अनसुईया उईके ने 26 जुलाई 2006 के बाद 376 प्रश्न पूछ हैं इस सत्र में उनके द्वारा पूछे गए प्रश्नों की तादाद सात थी। विक्रम वर्मा ने 1996 से अब तक कुल 10 प्रश्न ही पूछे हैं। आश्चर्यजनक तथ्य तो यह है कि दस सालों अर्थात 29 अगस्त 2001 के बाद विक्रम वर्मा सदन में प्रश्नों के मामले में पूरी तरह खामोश ही रहे।