पेट्रोल बढोत्तरी से सरकार ने झाड़ा पल्ला
(प्रियंका श्रीवास्तव)
नई दिल्ली (साई)। पेट्रोल में आग लगाने के
उपरांत सरकार ने इस कदम से अपना पल्ला झाड़ते हुए इसे पेट्रोलियम कंपनियों के पाले
में धकेल दिया है। सरकार ने पेट्रोल के दामों में बढ़ोतरी को जायज ठहराया है, जबकि कई विपक्षी दलों ने इसे अनुचित बताया
है। वित्त मंत्री प्रणब मुखर्जी ने नई दिल्ली में कहा कि पेट्रोल की कीमत बढ़ाने का
फैसला तेल कंपनियों का है, क्योंकि
सरकार ने करीब दो साल पहले ही पैट्रोल को नियंत्रण मुक्त कर दिया था।
पेट्रोलियम और प्राकृतिक गैस मंत्री जयपाल
रेड्डी ने इससे पहले डॉलर के मुकाबले रुपये की कीमत गिरने की वजह से पेट्रोल के
दाम बढ़ने का संकेत दिया था। कांग्रेस प्रवक्ता राशिद अल्वी ने कहा कि यह फैसला तेल
कंपनियों ने किया है। पेट्रोल की कीमतों में वृद्धि पर दुख व्यक्त करते हुए
उन्होंने कहा कि सभी जानते हैं कि पेट्रोल की कीमतों से नियंत्रण हटा लिया गया है।
इससे कांग्रेस पार्टी और भारत सरकार का कोई लेना-देना नहीं है। इस बारे में फैसला
केवल तेल कंपनियां करती हैं।
भारतीय जनता पार्टी ने पेट्रोल के दाम में
बढ़ोतरी का विरोध करते हुए इसे आम जनता के साथ धोखा बताया है। पार्टी प्रवक्ता
शहनवाज हुसैन ने कहा कि भाजपा इसके खिलाफ देशव्यापी आंदोलन चलाएगी और दाम वापस
लेने के लिए सरकार पर दबाव बनाएगी।
श्री हुसैन ने कहा कि जिस तरह से साढ़े सात
रुपया के करीब यह दाम बढ़ाया गया है। इतिहास में इतनी बड़ी मात्रा में दाम नहीं
बढ़ाया गया। इस पेट्रोल की बढ़ी हुई दाम को तुरंत वापिस लेना चाहिए। भारतीय जनता
पार्टी मुम्बई की कार्य समिति में इस पर चर्चा करेगी और पूरे देश में भाजपा इस
मंहगाई के खिलाफ आंदोलन खड़ा करेगी।
यूपीए सरकार की दूसरी सबसे बड़ी सहयोगी
पार्टी तृणमूल कांग्रेस ने पेट्रोल के दाम में बढ़ोतरी की आलोचना की है। इसका विरोध
करते हुए पार्टी प्रमुख और पश्चिम बंगाल की मुख्यमंत्री ममता बनर्जी ने कोलकाता
में कहा कि ऐसा फैसला लेने से पहले उनकी पार्टी को विश्वास में नहीं लिया गया।
भारतीय कम्युनिस्ट पार्टी ने भी पेट्रोल
के दाम में बढ़ोतरी का विरोध करते हुए, इसे आम आदमी के खिलाफ बताया है। पार्टी के वरिष्ठ नेता गुरूदास दासगुप्ता
ने कहा कि इस वृद्धि से न केवल आम आदमी पर बोझ बढ़ेगा, बल्कि देश में निवेश भी प्रभावित होगा।
उन्होंन कहा कि पेट्रोल की कीमतों में
वृद्धि निराशाजनक है। इस तरह का कदम उठाने के कारण देश के मौजूदा हालात को बहुत
खराब रास्ता में ले जाएंगे। महंगाई बढ़ेगा, इनवेस्टमेंट कम होगा, इकोनॉमिक स्लोडाउन बढ़ेगा। इनके खिलाफ मैदान में उतर कर लड़ेंगे।
गौरतलब है कि सरकारी तेल कंपनियों ने
पेट्रोल के दामों में अब तक की सर्वाधिक वृद्धि की है। इस वृद्धि के साथ आधी रात
से पेट्रोल की कीमत ७ रुपये ५४ पैसे प्रति लीटर बढ़ गई। मुम्बई में अब पेट्रोल की
कीमत ७८ रुपये ५७ पैसे प्रति लीटर हो गई है। कोलकाता में पेट्रोल की कीमत ७७ रुपये
८८ पैसे प्रति लीटर और चेन्नई में पेट्रोल की कीमत बढ़कर ७७ रुपये ५३ पैसे हो गई है, जबकि दिल्ली में पेट्रोल की कीमत ७३ रुपये
१८ पैसे प्रति लीटर हो गई है।
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