बुधवार, 7 अगस्त 2013

थम नहीं रहा डेंगू के लार्वा मिलने का सिलसिला!

थम नहीं रहा डेंगू के लार्वा मिलने का सिलसिला!

स्वास्थ्य विभाग ने अब तक नहीं जारी की जानलेवा डेंगू, मलेरिया की एडवाईज़री

(अखिलेश दुबे)

सिवनी (साई)। मच्छर जनित जानलेवा डेंगू के लार्वा मिलने का सिलसिला थम ही नहीं पा रहा है। स्वास्थ्य विभाग के अनेक दल द्वारा सतत् रूप से विवेकानंद और शहीद वार्ड में घरों में एकत्र पानी में मच्छरों के लार्वा की खोज कर उन्हें नष्ट किए जाने का काम किया जा रहा है। नगर पालिका की अकर्मण्यता के चलते सिवनी जिला मुख्यालय डेंगू की चपेट में आ चुका है। अब तक डेंगू के प्रभावित सात मरीजों के मिलने की खबर है।

अस्पताल भरा, मरीज जमीन पर
जिला चिकित्सालय इन दिनों मरीजों से ओवर फ्लो चल रहे हैं। अस्पताल में मरीजों के लिए पलंग खाली नहीं है। आलम यह है कि मरीज जमीन पर पड़े कराह रहे हैं। कहा जा रहा है कि जबसे जिला चिकित्सालय की कमान सिविल सर्जन डॉ.सत्यनारायण सोनी के हाथों में आई है तबसे जिला चिकित्सालय खुद ही आईसीयू में भर्ती हो गया है। जिला चिकित्सालय में बुखार, सर्दी खांसी के मरीजों की हालत देखकर लग रहा है मानो बारिश अपना असर दिखा रही है।

यही है मलेरिया जागरूकता रैली का परिणाम
कुछ दिनों पूर्व जिला मलेरिया अधिकारी के निर्देशन में मलेरिया विभाग द्वारा एक जन जागरूकता रैली का आयोजन किया गया था। इस रैली में मच्छर जनित रोगों के बारे में उनके प्रभाव, लक्षण, होने के कारण, बचाव के उपाय आदि के बारे में विस्तार से बताए जाने की बात जिला मलेरिया अधिकारी कार्यालय द्वारा जारी विज्ञप्ति में कही गई थी।
बताया जाता है कि इससे उलट यह रैली शहर के विभिन्न भागों में भ्रमण करने के बजाए जिला चिकित्सालय में अवस्थित जिला मलेरिया कार्यालय से निकलकर महज बाहुबली चौक तक आकर वापस लौट गई थी। इस जन जागरूकता रैली में स्वास्थ्य विभाग के मुट्ठी भर लोगों ने शिरकत की थी।

कागजों में चल रही योजनाएं
मच्छर जनित रोगों के लिए केंद्र सरकार द्वारा पूर्व में राष्ट्रीय मलेरिया उन्नमूलन कार्यक्रम चलाया जा रहा था। इसके तहत जिलों में मलेरिया के यूनिट स्थापित थे। बाद में मलेरिया के कर्मचारियों को परिवार नियोजन आदि के काम में संलग्न कर दिया गया। आज भी मलेरिया विभाग में पंप मैकेनिक, लेब टेक्निशियन आदि के पदों के एवज में वेतन निकल रहा है।

बाकी वार्ड में नहीं है ध्यान!
स्वास्थ्य विभाग के डेंगू एवं मलेरिया के विनिष्टीकरण अभियान का पूरा जोर जिला मुख्यालय में महज विवेकानन्द वार्ड और शहीद वार्ड में ही है। इन दोनों वार्ड के अलावा भी अन्य वार्ड में डेंगू या मलेरिया के लिए जिम्मेदार मच्छरों के लार्वा होने से इंकार नहीं किया जा सकता है, पर स्वास्थ्य विभाग का ध्यान इस ओर ना होना आश्चर्यजनक है।

नहीं जारी हुई एडवाईज़री!
स्वास्थ्य विभाग द्वारा 30 जुलाई को जनसंपर्क विभाग के माध्यम से विज्ञप्ति जारी कर स्वीकार किया गया था कि शहर में दो मरीज डेंगू प्रभावित हैं। इसके बाद भी स्वास्थ्य विभाग द्वारा अब तक डेंगू और मलेरिया के लिए एडवाईज़री जारी ना करना आश्चर्यजनक ही माना जा रहा है। लगता है स्वास्थ्य विभाग यह मानकर चल रहा है कि सिवनी जिला मुख्यालय के सारे लोग डेंगू और मलेरिया के कारण, लक्षण, बचाव के उपाय आदि से भली भांति परिचित हैं।

ठण्ड में कहर बरपाएगा डेंगू!
समाचार एजेंसी ऑफ इंडिया के दिल्ली ब्यूरो से मणिका सोनल ने भारतीय आयुर्विज्ञान संस्थान (एम्स) के सूत्रों के हवाले से बताया कि डेंगू के लिए जवाबदेह मच्छर का कहर ठण्ड के बढ़ते ही तेज हो जाता है। ठण्ड के मौसम में डेंगू का मच्छर अपने पूरे शवाब पर होता है। चूंकि ठण्ड के मौसम में पंखे आदि नहीं चलते इसलिए मच्छर के काटने की संभावनाएं और अधिक बढ़ जाती हैं।

दिन में काटता है डेंगू का मच्छर
डेंगू के लिए जवाबदेह मच्छर, दिन में ही लोगों को अपना शिकार बनाता है। इस लिहाज से दिन में संचालित होने वाली शिक्षण संस्थाओं और कार्यालयों में भी मच्छर को भगाने के पर्याप्त उपाय करना जरूरी हो गया है। जिला प्रशासन से अपेक्षा है कि वह नगर पालिका प्रशासन और स्वास्थ्य विभाग को यह निर्देश दे कि सभी वार्ड में जांच दल बनवाकर घरों घर मच्छरों के लार्वा की जांच और विनिष्टीकरण की कार्यवाही करने के निर्देश दे।

सुनिश्चित की जाए जनभागीदारी

जानलेवा डेंगू के सातवें मरीज मिलने के बाद अब इसका कहर बढ़ने की उम्मीद से इंकार नही किया जा सकता है। अब इससे निपटने के लिए जनभागीदारी सुनिश्चित किया जाना आवश्यक हो गया है। जिला प्रशासन को चाहिए कि इसके लिए गैर सरकारी संगठन (एनजीओ) की मदद ली जाकर, घरों घर अनेक प्रचार माध्यमों से जनजागरूकता फैलाएं।

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