सोमवार, 15 अक्टूबर 2012

पहले महीने फर्राटे से दौड़ता है आईडिया का नेट


एक आईडिया जो बदल दे आपकी दुनिया . . .  32

पहले महीने फर्राटे से दौड़ता है आईडिया का नेट

दूसरे महीने से पैसेंजर गाड़ी को भी दे देता है मात

(नन्द किशोर)

भोपाल (साई) आदित्य बिरला के स्वामित्व वाली आईडिया सेल्यूलर के इंटरनेट की अजब कहानी सामने आ रही है। ग्रामीण इलाकों से प्राप्त जानकारी के अनुसार आईडिया का इंटरनेट पहले महीने तो शताब्दी या सुपर फास्ट रेलगाड़ी के मानिंद चलता है, क्योंकि यह प्रमोशनल स्कीम के तहत निशुल्क होता है, किन्तु जैसे ही महीना पूरा होता है इसकी चाल पैसेंजर रेल गाड़ी से भी धीरे हो जाती है।
ग्र्रामीण इलाकों से आ रही खबरों के अनुसार आईडिया के नेट सेटर लेने पर पहले महीने की प्रमोशनल स्कीम के तहत इंटरनेट सुपर डुपर हिट तरीके से चलता है। जैसे ही उपभोक्ता द्वारा पहला रीचार्ज करवाया जाता है उसके बाद से उसे सर्वर नॉट फाउंड का ही संदेश देखने को मिलता है। दिन भर में सैकड़ों बार कनेक्ट करने पर भी आईडिया का नेट नहीं जुड़ पाता है।
उपभोक्ताओं को लुभाने के लिए जरूर यह बताया जाता है कि जिलों के ग्रामीण अंचलों में भी आईडिया का नेटवर्क है, किन्तु जब इंटरनेट जोड़ने की बात आती है तो उपभोक्ताओं के पसीने निकल जाते हैं। अनेक जिलों में तो टूजी सेवा होने के बाद भी आईडिया के कारिंदे थ्री जी का प्रलोभन देकर कनेक्शन बेच रहे हैं। पहले महीने तो उपभोक्ताओं को थ्री जी से भी तेज स्पीड मिलती है किन्तु अगले ही महीने से उपभोक्ता अपने आप को ठगा सा ही महसूस करता है।

(क्रमशः जारी)

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