लाजपत ने लूट लिया जनसंपर्क
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भाजपा को शर्मसार करता जनसंपर्क
(अखिलेश दुबे)
सिवनी (साई)। मध्य प्रदेश शासन के
जनसंपर्क विभाग के जिलों में स्थिति कार्यालयों के पास अब जिला स्तर पर सरकार की
योजनाओं के क्रियान्वयन की खबरों का टोटा साफ दिखाई पड़ने लगा है। अब तो जिला स्तर
के कार्यालय दूसरे जिलों और प्रदेश स्तर की खबरों को इस तरह परोस रहे हैं मानो वे
उनके जिलों से संबंधित ही हों। सिवनी जिले में जनसंपर्क विभाग द्वारा जारी खबरों
से सत्तारूढ़ भारतीय जनता पार्टी शर्मसार ही हो रही होगी।
ज्ञातव्य है कि भारतीय जनता पार्टी
विशेषकर मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान के शासनकाल में सिवनी जिले के साथ शासन का
उपेक्षा पूर्ण व्यवहार किसी से छिपा नहीं है। इतिहास साक्षी है कि सिवनी में सदा ही
एक दो या तीन मंत्री रहे हैं। डॉ.ढाल सिंह बिसेन के मंत्री पद से हटने के उपरांत
सिवनी को मंत्री के बतौर लाल बत्ती नसीब नहीं हुई है।
इतना ही नहीं सिवनी से सिंचाई विभाग के
मुख्य अभियंता का कार्यालय स्थानांतरित करने का षणयंत्र रचा गया, पर यह सफल नहीं हो सका। इसके साथ ही साथ
सिवनी को संभागीय मुख्यालय बनाया जाना, सिवनी में मेडीकल कालेज की स्थापना, सिवनी से फोरलेन का छीना जाना, सिवनी में दूध डेरी की दुर्दशा, सिवनी शहर के नागरिकों को लगातार गंदा
और बदबूदार पानी पीने पर मजबूर किया जाना आदि ना जाने कितने उदहारण हैं जिनसे साफ
हो जाता है कि भाजपा शासन द्वारा सिवनी जिले के साथ पूरी तरह उपेक्षात्मक रवैया
अपनाया जा रहा है।
सिवनी की जनता प्रदेश में सत्तारूढ़
भाजपा के कार्यकर्ताओं की ओर आशा भरी निगाहों से देख रही है। इसी बीच जिला
जनसंपर्क कार्यालय द्वारा एक विज्ञप्ति जारी की जाती है जिसमें तीन सिंचाई
परियोजना को १,३८७ करोड की स्वीकृति शीर्षक से जारी समाचार में सिवनी डेट लाईन से कहा
गया है कि मंत्रि-परिषद् ने छतरपुर जिले की बाँयीं नहर परियोजना के लिये ५४५ करोड
९० लाख रुपये की प्रशासकीय स्वीकृति और निवेश निकासी की अनुमति दी। परियोजना की
रूपांकित सिंचाई क्षमता ४३ हजार ८५० हेक्टेयर है। मंत्रि-परिषद् ने रायसेन जिले की
बारना वृहद परियोजना के विस्तार तथा इसे सुदृढ और आधुनिक बनाने के लिये ५८१ करोड
रुपये की प्रशासकीय स्वीकृति तथा निवेश निकासी की
अनुमति दी। इस योजना से वर्ष २०१२-१३ में ७५ हजार ८८ हेक्टेयर में सिंचाई
की गयी। मंत्रि-परिषद् ने छतरपुर जिले की सिंहपुर बेराज मध्यम परियोजना के लिये
२६० करोड ६३ लाख रुपये की पुनरीक्षित स्वीकृति तथा निवेश निकासी की अनुमति प्रदान
की। परियोजना की रूपांकित क्षमता १० हजार २०० हेक्टेयर है।
अब सिवनी के नागरिक भारतीय जनता पार्टी
के कार्यकर्ताओं से पूछ रहे हैं कि क्या सिवनी के नागरिक अपनी जमीन जायजाद, दुकान मकान बेचकर छतरपुर शिफ्ट हो जाएं? क्या छतरपुर जिले का जिला जनसंपर्क
कार्यालय बंद कर दिया गया है? क्या सिवनी में राज्य शासन की योजनाओं
का टोटा है? क्या सिवनी में राज्य शासन की योजनाएं लागू नहीं हो रही हैं या उनका
क्रियान्वयन नहीं हो पा रहा है? जिला जनसंपर्क कार्यालय की कार्यप्रणाली
से उपजी परिस्थितियों के चलते जनता के प्रश्नों पर भाजपा कार्यकर्ता शर्मसार हुए
बिना नहीं हैं।
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