दिखने लगी है भगवान भास्कर की तपन
(महेश्ा रावलानी)
सिवनी (साई)। बूंदाबांदी का दौर थमने के साथ ही पारे ने रफ्तार पकड़ ली है।
गर्मी में तेजी भी इस कदर आई है कि पिछले एक सप्ताह से तापमान लगातार बढ़ता ही जा
रहा है। बुधवार को भले ही तेज गर्मी पड़ी, लेकिन पारा सामान्य
तौर पर कम ही उछला है। विशेषज्ञों का कहना है कि उत्तरी हवाएं और उनकी रफ्तार पारे
में तेजी ला रही है। आने वाले दिनों में भी गर्मी का अहसास दिनोंदिन बढ़ते ही जाने
का अनुमान लगाया जा रहा है।
उल्लेखनीय होगा कि पिछले तकरीबन एक सप्ताह से गर्मी में लगातार इजाफा
देखने को मिल रहा है। एक-दो दिनों को छोड़ दिया जाए तो पारे ने हर दिन एक नए पायदान
पर जगह बनाई है। चार दिनों से 33 डिग्री सेल्सियस के ऊपर चल रहे पारे ने बुधवार को
जरूर कुछ नरमी दिखाई, लेकिन गर्मी का
अहसास कम नहीं हुआ। मौसम विशेषज्ञों का कहना है कि बूंदाबांदी की वजह से गर्मी
अपने सही वक्त पर असर नहीं दिखा पाई है। मौसम विभाग के नजरिये से देखा जाए तो
गर्मी में अभी कमी ही है। बहरहाल उत्तरी हवाओं ने अपना असर दिखाना शुरू कर दिया
है। आने वाले दिनों में तापमान तेजी से बढ़ने के आसार हैं।
बहरहाल मौसम के बिगड़े मिजाज पर होलिका पर्व ने विराम लगाया है और पिछले
तीन दिनों से तमतमाते सूर्य की किरणें लोगों को झुलसाने लगी हैं। अचानक बढ़े तापमान
के कारण दिन और रात में पड़ती गर्मी और निकलते पसीने से कूलर, पंखे और एसी चलने लगे हैं। तापमान में अचानक आई वृद्धि ने 19
मार्च को अधिकतम तापमान 33.2 डिसे पर पहुंचा दिया। हालाकि आज 20 मार्च को अधिकतम
में मामूली गिरावट दर्ज की गई और यह 32.6 पर आकर ठहर गया। वहीं न्यूनतम तापमान भी
अब अमूमन 20 डि.से. के ऊपर ही दर्ज किया जाने लगा है।
ज्ञातव्य है कि मार्च माह के प्रारंभिक दौर से ही मौसम का मिजाज बदल रहा
है और बीते 20-22 दिनों तक कहीं तेज बारिश तो कहीं तेज हवाओं के साथ ओलों की मार
भी जिलेवासियों को झेलना पड़ी है। अब पुनः मौसम का असर बदलाव लिए हुए है और गर्मी
के बढ़ने के साथ ही मौसम के बदलते क्रम से बीमारियां भी बढ़ी हैं और लोगों को हाथ, पैर में दर्द, जकड़न और पेट
संबंधी विकार सामने आए हैं।
यहां निजि क्लीनिकांे के साथ ही साथ जिला चिकित्सालय में भी मरीजों की
संख्या में लगातार इजाफा हो रहा है। गर्मी के कारण बढ़ रही बीमारियों पर चिकित्सकों
ने लोगों को अधिक पानी पीने व बाहरी खाद्य पदार्थ न खाने की सलाह दी है। गर्मी के
मौसम के शुरू होते ही बाजारों में भी शीतलता देने वाले पेय पदार्थ व फलों की
बिक्री बढ़ी है। बाजार में शीतल पेय के ठेले और दुकानें जगह-जगह सजी हुई हैं। तेज
होती धूप के कारण प्रमुख मार्गों पर भी दोपहर के समय आवगमन का दबाव कम होने लगा
है।
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