लोकगीतों में
दिल्ली गेंग रेप की पीड़ा!
(शरद)
नई दिल्ली (साई)।
दिल्ली में मेडिकल छात्रा के साथ हुए गैंगरेप की पीड़ा अब लोकगीतों में सुनाई दे
रही है। ‘एइसे
बहिनिया के इज्जत लुटाई त कइसे कलइया में राखी बंधाई’ नामक लोकगीत सुनाई
दे रहा है। देश को हिला देने वाले इस कांड के दर्द को शब्दों में बांधा है बिरहा
गीतकार जोखन मधुकर ने।
दिल्ली गैंगरेप की
शिकार बिटिया की कहानी को केंद्र में रखते हुए उन्होंने नारी की व्यथा को आवाज दी
है। इनके साथ-साथ एक दर्जन बिरहा गायक दिल्ली गैंगरेप की हृदय विदारक घटना की
कहानी अपने-अपने तरीके से जनता में बयां कर रहे हैं। अब तक तीन गायकों के एलबम
बाजार में भी आ गए हैं।
बिरहा गायक
ओमप्रकाश दिवाना ने ‘गैंगरेप उर्फ चलती बस में बलात्कार’ शीर्षक से बिरहा
एलबम जारी किया है। इसकी रिकॉर्डिंग स्टूडियो में हुई है लेकिन वीडियो में बिरहा
के श्रोताओं, स्टूडियो, घटना का नाटकीय
रूपांतरण और इसके विरोध में हुए आंदोलन के फुटेज भी जोड़े गए हैं।
एलबम के गीतकार
जोखन प्रसाद मधुकर ने घटना की पुरजोर भर्त्सना की है। उन्होंने गर्भ से लेकर घर के
बाहर तक नारी की असुरक्षा का मामला बहुत संजीदा तरीके से प्रस्तुत किया है। वहीं, गायक अमृत लाल यादव
का एलबम ‘दिल्ली बस
गैंगरेप कांड (श्रद्धांजलि)’ मैक्स म्यूजिक से और धर्मराज का ‘दिल्ली दामिनी कांड’ के नाम से आया है।
ओमप्रकाश के
मुताबिक हफ्ते भर में उनके एलबम की 10 हजार से अधिक प्रतियां बिक चुकी हैं।
एलबमों के थोक विक्रेता कैलाश नाथ ने बताया कि आधा दर्जन और गायक हैं जो इस मुद्दे
पर गा रहे हैं। बिरहा में आख्यान गाने का चलन कोई नया नहीं हैं।
गायक अजय अजनबी का
कहना है कि रामायण,
महाभारत, सोरठा, लोरिकायन जैसे आख्यान गायक जन-जन तक
पहुंचाते थे। राष्ट्रीय आंदोलन के बारे में लोगों को जागरूक करने के लिए लोकगायकों
की महत्वपूर्ण भूमिका रही है लेकिन इस तरह के आख्यानों पर गाते समय सावधानी जरूरी
है।
बिरहा गायक हीरालाल
की अमर प्रेम कहानी ‘हे दीदी’ आज भी पुराने लोग भूले नहीं हैं। ओमप्रकाश
का कहना है कि बिरहा गायक मनोरंजन के साथ-साथ जनता को जागरूक करता है।
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