अमिताभ के घर के बाहर कुत्ते छोड़ रहे
हैं लोग
(निधि गुप्ता)
मुंबई (साई)। पिछले काफी समय से लोग
अपने पालतू कुत्तों को बॉलिवुड ऐक्टर अमिताभ बच्चन के घर के बाहर छोड़कर जा रहे
हैं।
खबरों के मुताबिक, हफ्ते में कम से कम एक अच्छी नस्ल का पालतू कुत्ता बच्चन के
घर, जलसा, के बाहर पाया
जाता है। दरअसल, अमिताभ बच्चन को जानवरों से बहुत
प्यार है और लोगों को लगता है कि वे अपने पालतू कुत्ते को उनके घर के बाहर छोड़कर
जाएंगे, तो वह उन्हें गोद ले लेंगे। अब तक बच्चन द्वारा उनमें से एक
भी कुत्ते को गोद लेने की खबर तो नहीं मिली, लेकिन ऐक्टिविस्ट्स
ने पिछले दो सालों में अब तक ऐसे करीब 60 कुत्तों को बच्चन के घर के आस-पास घूमते
पाया और उन्हें शरण दी है।
यूथ ऑर्गनाइज़ेशन इन डिफेंस ऑफ
ऐनिमल्स (योडा) नाम के एनजीओ के सह-संस्थापक, अभिषेक सोपरकर ने
बताया, ‘इनकी संख्या बढ़ने से पहले तक शुरुआत में ऐक्टिविस्ट्स इसे महज़
एक संयोग समझते थे। ये सभी अच्छी नस्ल के कुत्ते हैं। इनके मालिक इन्हें आम तौर पर
शनिवार की रात छोड़ जाते हैं। आखिरकार, एक दिन हमारे एक
वॉलनटिअर और पशु प्रेमी ने ऐसा होते हुए देखा और हमें कॉल की।‘
सोपरकर ने आगे बताया, ‘योडा को ऐक्टर सोनाली सहगल की कॉल आई, जिन्होंने दो साल के एक ग्रेट डेन को बच्चन्स के बंगले के पास
देखा था। उसे स्किन इन्फेक्शन था और सोनाली उसे बॉम्बे एसपीसीए के पास ट्रीटमेंट
के लिए ले गई थीं। किसी ने मालिक को उसे छोड़ते हुए नहीं देखा था। हमें बस इतना पता
है कि हमें वह बच्चन्स के बंगले के पास मिला था। शायद मालिक ने सोचा होगा कि इसे
बच्चन गोद ले लेंगे क्योंकि वह ग्रेट डेन है।‘ ग्रेट डेन जर्मन ब्रीड का कुत्ता है, जो अपने बड़े आकार के कारण पॉप्युलर है।
सोपरकर के मुताबिक, जनवरी में भी योडा को एक कॉकर स्पैनियल, एक जर्मन शेफर्ड और एक पमेरियन मिला था। ऐसा लगता है, जो मालिक अपने कुत्तों को छोड़ना चाहते हैं, वे उन्हें बच्चन्स के बंगले के बाहर ही छोड़ना पसंद करते हैं।
बल्कि इन दिनों तो एक जोक भी खूब चर्चा में है कि जो लोग अच्छी नस्ल के कुत्ते गोद
लेना चाहते हैं, वे एक बार बच्चन्स के बंगले के आस-पास
वॉक करने चले जाएं।
ऐनिमल वेलफेअर ऐक्टिविस्टस कहते हैं
कि बांद्रा और जुहू के बीच रहने वाले बहुत से अमीर परिवार ऐसे महंगे कुत्ते खरीदते
हैं, लेकिन बाद में जब वे उनका पालन-पोषण करने में समर्थ नहीं होते
या जब उनका पेट एक समस्या बन जाता है, तो वे उन्हें छोड़
देते हैं। सोपरकर बोले, ‘मुझे पूरा यकीन
है कि मालिक यही सोचते होंगे कि उनके कुत्ते को बच्चन्स गोद ले लेंगे, लेकिन हम ही उन्हें आखिरकार शरण देते हैं। उनके बीमार या घायल
होने पर उनका इलाज कराते हैं और फिर उन्हें गोद देने के लिए आगे भेजते हैं।‘
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