बैठ गई बीस करोड़ी
रोड़
(आंचल झा)
रायपुर (साई)।
राजधानी में भारी वाहनों को आने से रोकने के लिए बनाया गया जोरा-सड्डू-धनेली
बायपास दो साल में ही जर्जर हो गया। इस बायपास के रास्ते में आने वाले टेकारी
रेलवे ओवरब्रिज का निर्माण पूरा नहीं होने के कारण इस पर अभी भारी वाहनों की
आवाजाही पूरी तरह से शुरू भी नहीं हुई है।
20 करोड़ की इस सड़क में जगह-जगह गड्ढे हो गए
हैं। फाउंडेशन मजबूत नहीं होने की वजह से कई जगह सड़क बैठ गई है। इस सड़क को अगले 15 सालों के भारी
ट्रैफिक के हिसाब से बनाई गई थी। बलौदाबाजार रोड के पहले पेट्रोल पंप के पास नाले
के बहाव के कारण 50 मीटर
हिस्सा बह गया है। इसकी मरम्मत भी नहीं कराई गई है।
राज्य शासन के लोक
निर्माण विभाग ने 2007-08 में इसका
ठेका कोरबा के श्रीकृष्ण एजेंसी को दिया था। 2009-10 में यह सड़क बनकर
पूरी हुई, लेकिन
टेकारी रेलवे ओवरब्रिज के निर्माण में देरी होने के कारण इसमें ट्रैफिक शुरू नहीं
हो पाया है। आसपास के गांवों के हल्के मालवाहक इस रोड से दो साल से चल रहे हैं।
इन्हीं वाहनों के दबाव को सड़क नहीं झेल पाई। जोरा से बलौदाबाजार रोड तक के सड़क के
हिस्से की हालत बेहद खराब है। हर 25 मीटर में सड़क खराब हो गई है। ठेकेदार ने
तीन साल की परफार्मेंस गारंटी दी है। इसके पहले भी सड़क पर पैचवर्क का काम कराया
गया था।
राजधानी की तंग
सड़कों में ट्रैफिक दबाव को कम करने के लिए इस बायपास को बनाया गया है। महासमुंद-मंदिर
हसौद की ओर से बिलासपुर जाने वाले वाहन इस समय तेलीबांधा होकर गौरव पथ, शास्त्री चौक, जेल रोड, फाफाडीह, भनपुरी, बीरगांव होकर
गुजरते हैं। इनके कारण शहर में कई बार जाम की स्थिति बन जाती है। शहर के भीतर सुबह
10 बजे से
लेकर रात 10 बजे तक
भारी वाहनों का प्रवेश बंद रखा गया है। इस वजह से दिन में शहर के बीच से भारी
वाहनों की आवाजाही बंद रहती है। रात 10 बजे के बाद भारी वाहन रायपुर शहर के भीतर
होकर बिलासपुर जाते हैं। बायपास तैयार हो जाने के बाद इन भारी वाहनों को शहर के
अंदर आने की जरूरत ही नहीं होगी। वे जोरा-सड्डू-धनेली बायपास से होते हुए सीधे
बिलासपुर रोड पहुंच जाएंगे।
जोरा-सड्डू-धनेली
बायपास में बलौदाबाजार रोड के पास 19 करोड़ की लागत से फ्लाईओवर का निर्माण कराया
जा रहा है। इसमें अभी 30 प्रतिशत काम बाकी है। बायपास शुरू नहीं होने का एक कारण यह
भी है। टेकारी ओवर ब्रिज नहीं बनने के कारण बायपास से अभी हल्के मालवाहक ही गुजर
रहे हैं। सड़क की हालत देखने के बाद जानकारों को आशंका है कि सिलतरा औद्योगिक
क्षेत्र के भारी वाहनों की आवाजाही शुरू होने के बाद सड़क की स्थिति और खराब हो
जाएगी।
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