बाबा के मंदिर में
भोग की कतार!
(राजीव सक्सेना)
ग्वालियर (साई)।
शिरडी के फकीर साई बाबा का चमत्कार हर जगह देखने को मिलता है। देश भर में बाबा के
भक्तों की तादाद में विस्फोटक बढोत्तरी दर्ज हुई है। बाबा के मंदिरों की तादाद देश
में अनगिनत हो चुकी है। साई बाबा के भण्डारे हर गुरूवार चाहे जहां यहां वहां होने
लगे हैं।
अगर आप साई बाबा के
भक्त हैं तो आपको अपना भक्ति-भाव उन्हें अर्पित करने के लिए बहुत धैर्य रखना
पड़ेगा। साई बाबा के मंदिर में भोग लगाने के लिए 7300 भक्त कतार में हैं। अगर आप
मंदिर में आज ही नंबर लगा दें तो आपकी भोग लगाने की बारी मई, 2018 में आएगी।
ग्वालियर के विकास
नगर में 1976 में स्थापित सांई बाबा का मंदिर पिछले कुछ सालों से भोग अर्पण
प्रबंधन के लिए चर्चा में है। भोग अर्पण के लिए साई भक्तों से दान राशि लेकर उनके
नाम रजिस्टर में दर्ज कर लिए जाते हैं। उनका नंबर आने पर उनके नाम से भोग लगता है।
ट्रस्ट कार्यालय में इस समय भोग की थाली चढ़ाने के लिए 7300 भक्तों का पंजीकरण हो
चुका है। 2018 तक बाबा का भोग इन्हीं भक्तों के नाम से लगेगा। नये लोगों को 2018
के बाद भोग लगाने का मौका मिल पाएगा।
साई मंदिर में दर्ज
नामों की जब बारी आती है, उन्हें दो सप्ताह पहले पोस्टकार्ड भेजकर सूचना दी जाती है।
न्यास भोग वाले दिन फोन करके भी संबंधित भक्त को मंदिर में बुलाता है। एक दिन में
चार भक्तों के नाम से थाली का भोग लगता है। दो भक्तों की ओर से सुबह 12 बजे और दो
भक्तों की ओर से शाम को छह बजे। इन भक्तगणों को थाली में रखा प्रसाद आरती के बाद
प्रदान किया जाता है। भोग की थाली के लिए श्रद्धालुओं से 201 रुपये की दानराशि
ट्रस्ट कार्यालय में जमा कराई जाती है।
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