कांग्रेस और नेताजी का हनीमून ओवर
शेख शकील,
समाजवादी पार्टी प्रमुख मुलायम सिंह
यादव पिछले कुछ दिनो से केन्द्र की यूपीए सरकार जो सपा की सायकिल के भरोसे ही चल
रही है लेकिन सायकिल के केरियर पर बैंठे प्रधानमंत्री मनमोहन सिंह को दच्के कुदाकर
बार-बार यह जताने की कोशिश कर रहे है कि यदि सायकिल के पहिये पर ब्रैक लगा तो
यूपीए सरकार सडक पर आ जाएगी ।
हाल ही में आया नेताजी का बयान कि
कांग्रेस से लड़ना मुश्किल है कांग्रेस जेल में डलवा देगी या सीबीआई को पीछे लगा
देगी ! इस बयान के बाद राजनैतिक सरगर्मी बढी लेकिन बार-बार नेताजी के आने वाले
बयान की छानबीन की जाए तो पता चलेगा कि सपा प्रमुख मुलायम सिंह यादव एक तरह से
कांग्रेस के लिए ही काम कर रहे है !
भारतीय जनता पार्टी के नेताओ की संसद से
लेकर सड़क तक तारीफ करने वाले नेताजी कुछ दिवस पूर्व सदन में यह भी कह चुके है कि
अगर भाजपा अपने हिदुत्व के मुददे से हट जाये तो आगामी लोकसभा चुनाव में वे भाजपा
के साथ जाने पर विचार कर सकते है । यही नही सपा प्रमुख भाजपा और संघ से जुडे रहे
नेताओ की मंच से तारिफ करने में गुरेज नही कर रहे है तो क्या सपा और भाजपा का
गठजोड़ हो सकता है ।
यह कयास लगाना एक तरह से बेईमानी होगी
क्योकि उत्तर प्रदेश में सेकण्ड सीएम कहे जाने वाले आजम खां खुले तौर पर कह चुके
है कि बाबरी मस्जिद के गुनहगारो से किसी किमत पर समझौता नही हो सकता ! मतलब साफ है
कि अगर मुलायम सिंह ताकतवर है और यूपीए सरकार से लड़ने की ताकत रखते है तो समर्थन
वापस क्यो नही ले लेते जब समर्थन वापस लेने की बात आती है तो मुलायम सांमप्रदायिक
ताकतो को रोकने का अलाप रागने लग जाते है ! लेकिन अगली सुबह फिर उत्तर प्रदेश में
किसी मंच से कांग्रेस को निशाने पर ले लेते है ।
सपा प्रमुख मुलायम सिंह यादव एकतरह से
कांग्रेस के लिए ही इस तरह की बयानबाजी कर रहे है ! विपक्ष के भारी विरोध के चलते
उलझी कांग्रेस को आये दिन आने वाला मुलायम सिंह का एक बयान कांग्रेस के लिए
आक्सीजन का काम कर रहा है ! मुलायम सिंह के बयान पर 24 घंटे न्यूज चौनल राजनैतिक पंड़ितो केा
बैठाकर दर्शकों को बांधे रखने और अगले चुनाव का डर बता कर टीआरपी बटौर रहे है !
पिछले दिनो बंगाल की शैरनी कही जाने वाली तृणमूल कांग्रेस प्रमुख ममता बेनर्जी ने
कांग्रेस को बता दिया कि मर्दानगी शब्द केवल मर्दाे की जागिर नही जो साहस के साथ
डटा रहे वही बहादुर है । लेकिन मुलायम सिंह यादव सर्मथन वापस लेने के नाम पर
कांग्रेस को डरा तो रहे है लेकिन सर्मथन वापस नही ले रहे है ।
मुलायम सिंह यादव के लगातार आ रहे
कांग्रेस विरोधी बयान कांग्रेसी नेताओ के लिए फायदेमंद साबित हो रहे है वही विपक्ष
में बैठे और यूपीए का साथ छोड़ कर गये नेताओ के लिए डर का वातावरण बना रहे है ।
मुलायम सिंह यादव का कहना कि कांग्रेस से लड़ना मुश्किल है ! इस बयान का एक मतलब यह
भी निकाला जा सकता है कि भारतीय जनता पार्टी और उन नेताओ को अप्रत्यक्ष रूप से
डराया जा रहा है जो कांग्रेस को उसकी गलती गिना रहे है है । पिछले दिनो भाजपा के
पूर्व राष्ट्रीय अध्यक्ष नीतिन गडकरी की हुई मटिया पलित और डीएमके के समर्थन वापस
के बाद हुई सीबीआई की कार्यवाही इन दोनो को जोड़ कर देखा जाए तो मुलायम सिंह यादव
कांग्रेस को घेरने वाले लोगो को यह संदेश दे रहे है कि अगर कांग्रेस को अगर कोई
छेडे़गा तो कांग्रेस किसी को नही छोडेगी ।
सपा प्रमुख मुलायम सिंह यादव अपनी ताकत
जानते है और ताकत के नाम पर सपा शासन काल में हो रहे उन कामो से भी भली भांती
परिचित है जिसे सियासत में तरक्की और आम आदमी की नजर में काले कारनामें कहे जाते
है । मतलब साफ है कि मुलायम सिंह के बयान कांग्रेस की एक रणनीति का हिस्सा हो सकते
है सबसे बडा और अहम सवाल यह है कि यूपीए सरकार की तमाम बुराई के बावजूद भी नेताजी
कांग्रेस का दामन छोड़ने को तैयार नही है
(लेखक तेज न्यूज डॉट काम के संपादक हैं)
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